US Presidential Election 2024: अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव के लिए मतदान हो रहा है। अमेरिका का नया राष्ट्रपति बनने के लिए डोनाल्ड ट्रंप और कमला हैरिस के बीच कड़ा मुकाबला होने क़ी उम्मीद है। अमेरिकी नागरिक चुनाव में मतदान करने के लिए पोलिंग बूथ तक पहुंच रहे है। वोटिंग के इसी क्रम में कोई पीछे ना रह जाए इसे लेकर NASA ने एक योजना बनाई है। NASA की योजना के मुताबिक अंतरिक्ष यात्री स्पेस में रहते हुए भी मतदान कर सकेंगे। चार अमेरिकी वर्तमान समय में अंतरिक्ष में हैं, जो अपने मतदान अधिकार का प्रयोग करेंगे। इनमें दो बोइंग स्टारलाइनर अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और बुच विल्मोर भी शामिल हैं, जो अंतरिक्ष में फंसे हुए हैं।
सुनीता ने कही थी ये बात
सितंबर में नासा की एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान, सुनीता विलियम्स ने स्पेस से मतदान करने के लिए अपनी इच्छा व्यक्त की थी, उन्होंने कहा था, "यह एक नागरिक के रूप में हमारा अहम कर्तव्य है, और मैं अंतरिक्ष से मतदान करने के लिए उत्सुक हूं, जो बहुत अच्छा है।"
क्या है वोटिंग का प्रोसेस?
साल 1997 से ही नासा के एस्ट्रोनॉट्स, स्पेस स्टेशन से चुनाव में वोटिंग करते आए हैं। स्पेस स्टेशन में मौजूद ऑर्बिटिंग लैबोरेट्री से एस्ट्रोनॉट्स इलेक्ट्रॉनिक बैलेट के जरिए वोटिंग करते आए हैं। सैटेलाइट फ्रीक्वेंसी के जरिए इलेक्ट्रॉनिक मतपत्रों को स्पेस स्टेशन भेजा जाता है, जिसके बाद एस्ट्रोनॉट्स वोट डालते हैं। इसके बाद वापस इलेक्ट्रॉनिक मतपत्रों को पृथ्वी पर भेजा जाता है।
कब किसने किया मतदान
नासा के अनुसार, डेविड वुल्फ 1997 में अंतरिक्ष में मतदान करने वाले पहले व्यक्ति थे और केट रूबिन्स 2020 के अमेरिकी चुनावों के दौरान अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन से मतदान करने वाले अंतिम अंतरिक्ष यात्री थे।
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