Highlights
- कई देशों के लिए जून और जुलाई का महीना काफी गर्म
- 40 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंचा तापमान
Heat Wave Earth: ग्लोबल वर्मिंग और प्रदूषण के चलते धरती (Earth) का तापमान निरंतर बढ़ता जा रहा है। यूरोप, नॉर्थ अफ्रीका, मिडिल ईस्ट और एशिया के कई देशों के लिए जून और जुलाई का महीना काफी गर्म साबित हो रहा है। इन इलाकों में तापमान 40 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंच गया है। गर्मी के वर्षों पुराने रिकॉर्ड टूट गए है। नासा (NASA) ने धरती की एक तस्वीर जारी की है जिसमें बढ़ते तापमान को दिखाया गया है। यह तस्वीर 13 जुलाई 2022 की है। इस तस्वीर में अधिकांश पूर्वी गोलार्ध में सतही हवा के तापमान को दिखा रहा है. यह गोडार्ड अर्थ ऑब्जर्विंग सिस्टम (GEOS) वैश्विक मॉडल के एक वर्जन में मिले ऑब्जर्वेशन को मिलाकर तैयार किया गया था। यह गणितीय समीकरणों के इस्तेमाल पर आधारित होता है।
पुर्तगाल के लीरिया में तापमान 45 डिग्री सेल्सियस
इस नक्शे के मुताबिक पश्चिमी यूरोप में सूखा पड़ा हुआ है, जबकि पुर्तगाल, स्पेन और फ्रांस के कई हिस्सों में भयंकर गर्मी पड़ रही है। 13 जुलाई को पुर्तगाल के लीरिया में तापमान 45 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। तापमान बढ़ने से 3000 हेक्टेयर (7200 एकड़) का एरिया जल गया। नतीजा ये हुआ कि आधे से ज्यादा देश में रेड अलर्ट घोषित करना पड़ा।
ईरान में तापमान 52 डिग्री सेल्सियस
वहीं इटली में भीषण गर्मी के कराण 3 जुलाई को डोलोमाइट्स में मर्मोलडा ग्लेशियर के एक हिस्सा टूट गया। हिमस्खलन के चलते 11 पैदल यात्रियों की जान चली गई। उधर ईरान में तो हद हो गई। जून के आखिरी हफ्ते में वहां तापमान 52 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। वहीं चीन में भीषण गर्मी के कारण सड़कें पिघल गईं, छतें टूट गईं। नासा ने दो नक्शे भी जारी किए हैं, जिसमें ये बताया गया है कि पिछले 46 साल में कैसे धरती की सूरत की बिगड़ गई है। एक नक्शा 1976 का जारी किया गया है जबकि दूसरा 2022 का। इस नक्शे में यह बताया गया है कि वर्ष 1976 से लेकर 2022 तक कैसे धरती का नक्शा नीले से लाल हो गया।