अमेरिका ने असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा से एक बड़ी मदद मांगी है। ऐसा पहली बार हुआ है, जब दुनिया के सबसे ताकतवर देश ने सीधे भारत के किसी मुख्यमंत्री से सहायता मांगी है। इससे हिमंत विश्व शर्मा की चर्चा अब वैश्विक स्तर पर शुरू हो गई है। भाजपा के फायर ब्रांड नेता और असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा अपनी बेबाकी और कट्टर हिंदुत्व के लिए जाने जाते हैं। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की तरह हिमंत विश्व शर्मा भी कट्टर हिंदुत्वादी होने और अपने विशेष कार्यों की वजह से चर्चा में रहते हैं। अब अमेरिका ने उनसे एक बड़े मामले में मदद मांग कर उनका कद और बढ़ा दिया है। आइए अब आपको बताते हैं कि ऐसा क्या मामला है, जिसमें अमेरिका को असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा से मदद मांगनी पड़ गई है।
दरअसल अमेरिका ने जिस मामले में सीएम हिमंत विश्व शर्मा से मदद मांगी है, वह विश्व युद्ध से जुड़ा है। मगर हैरान होने की जरूरत नहीं है, क्योंकि कोई तीसरा विश्व युद्ध नहीं होने जा रहा, जिसके लिए अमेरिका ने असम के सीएम से सहायता मांगी है, बल्कि यह मामला द्वितीय विश्व युद्ध से जुड़ा है। वर्ष 1939 से 1945 के दौरान हुए द्वितीय विश्व युद्ध में अमेरिका मुख्य किरदार था। उस दौरान पूरी दुनिया दो पक्षों में बंट गई थी। इसमें दुनिया के तमाम देशों ने भारी नुकसान उठाया था। जापान के हिरोशिमा और नागासाकी शहर में अमेरिका ने परमाणु बम इसी विश्व युद्ध के दौरान गिराया था। मगर कई देशों में अमेरिकी सैनिकों ने बड़े पैमाने पर अपनी जान गवाईं थी। इसमें से असम भी भारत का ऐसा अहम राज्य है, जहां अमेरिकी सैनिक मारे गए थे।
द्वितीय विश्व युद्ध में मारे गए सैनिकों का अवशेष ढूंढ़ रहा अमेरिका
अमेरिका ने असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा से भारत के इस राज्य में द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान मारे गए अमेरिकी सैनिकों के अवशेषों को ढूंढ़ने में मदद मांगी है। कोलकाता में अमेरिका की महावाणिज्य दूत मेलिंडा पावेक ने द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान असम में जान गंवाने वाले अमेरिकी सैनिकों के अवशेषों का पता लगाने के लिये इस पूर्वोत्तर राज्य की सरकार की मदद मांगी है। पावेक ने बृहस्पतिवार को यहां असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा से हुई मुलाकात के दौरान उनसे यह अनुरोध किया। शर्मा ने ट्वीट किया, “अमेरिकी महावाणिज्य दूत ने विश्व युद्ध के दौरान असम में जान गंवाने वाले 1,000 अमेरिकी सैनिकों के अवशेषों की तलाश के लिये मदद मांगी है। मैंने उन्हें आश्वासन दिया है कि इस संबंध में हम जो कर सकते हैं, वह करेंगे।”(PTI)
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