वाशिंगटन: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को महान प्रधानमंत्री की संज्ञा देते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने आज उनके साथ द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाने के तरीकों पर चर्चा की। यह वार्ता ऐसे समय में हुई जब अमेरिका ने हिजबुल मुजाहिदीन प्रमुख सैयद सलाहुद्दीन को वैश्विक आतंकवादी घोषित करके पाकिस्तान को एक कड़ा संदेश दे दिया है। एक विशेष भाव के तौर पर मोदी का स्वागत करने के लिए ट्रंप और उनकी पत्नी मेलेनिया व्हाइट हाउस के साउथ पोर्ट तक आये। यह मोदी की ट्रंप से पहली मुलाकात है। ट्रंप और उनकी पत्नी ने मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया और व्हाइट हाउस में भीतर जाने से पहले वे एकदूसरे से संक्षिप्त बातचीत करते हुए और हालचाल पूछते हुए दिखे। (मोदी-ट्रंप की मुलाकात से पहले भारत की बड़ी जीत, सैयद सलाउद्दीन अंतरराष्ट्रीय आतंकी घोषित)
जब दोनों नेता बातचीत के लिए बैठे तो ट्रंप ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी का स्वागत करना उनके लिए सम्मान की बात है। हाल ही में उन्होंने मोदी को सच्चा मित्र कहा था। अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, वह इतने महान प्रधानमंत्री हैं। मैं उनके साथ बात करता रहा हूं और उनके बारे में पढ़ता रहा हूं। वह बहुत अच्छा काम कर रहे हैं। ट्रंप ने कहा, आर्थिक रूप से और कई अन्य मायनों में भारत अच्छा प्रदर्शन कर रहा है। मैं इसके लिए उन्हें बधाई देना चाहूंगा। मोदी ने गर्मजोशी भरे स्वागत के लिए डोनाल्ड ट्रंप और उनकी पत्नी के प्रति आभार जताया। मुलाकात के बाद मोदी के लिए एक कामकाजी रात्रिभोज का आयोजन भी किया गया है जो मौजूदा अमेरिकी प्रशासन में किसी विदेशी नेता के लिए पहला इस तरह का आयोजन है।
मोदी ने कहा, मेरा स्वागत भारत के 125 करोड़ नागरिकों का स्वागत है। मैं इसके लिए राष्ट्रपति और प्रथम अमेरिकी महिला के प्रति दिल से आभार जताता हूं। प्रधानमंत्री ने कहा कि ट्रंप भारत की प्रगति और आर्थिक तरक्की पर ध्यान देते रहे हैं। उन्होंने याद किया कि ट्रंप ने राष्ट्रपति बनने से पहले 2014 में भारत की यात्रा की थी और अच्छी टिप्पणियां की थीं। जिन मुद्दों पर चर्चा होनी है उनमें आतंकवाद से मुकाबले पर सहयोग, रक्षा साझोदारी, वैश्विक सहयोग, व्यापार और ऊर्जा शामिल हैं। पहली शिखर बैठक के लिए जमीन अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने तय की जिसने कश्मीरी आतंकवादी समूह हिजबुल मुजाहिदीन प्रमुख सैयद सलाहुद्दीन को मुलाकात से कुछ ही घंटे पहले वैश्विक आतंकवादी घोषित कर दिया।
अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान से उत्पन्न होने वाले आतंकवाद के खिलाफ एक कड़ा संदेश दिया जिससे भारत प्रभावित हो रहा है। बैठक से पहले मोदी ने कहा था कि भारत-अमेरिका के रणनीतिक संबंध आकाट्य तर्क पर आधारित हैं और आतंकवाद, कट्टरपंथी विचारधारा और गैर पारंपरिक खतरों से दुनिया की रक्षा करने में दोनों देशों का प्रभावी हित है।