Saturday, December 21, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. विदेश
  3. अमेरिका
  4. बंदर ने जीता सेल्फी से होने वाली कमाई का मुक़दमा, मिलेगा रॉयल्टी का 25% हिस्सा

बंदर ने जीता सेल्फी से होने वाली कमाई का मुक़दमा, मिलेगा रॉयल्टी का 25% हिस्सा

कॉपीराइट को लेकर मुक़दमेबाज़ी के मामले तो आप अक़्क़सर सुनते रहते होंगे लेकिन क्या आपने कॉपीराइट को लेकर इंसान और जानवर के बीच मुक़दमेबाज़ी देखी-सुनी है?

Written by: India TV News Desk
Updated : September 12, 2017 11:16 IST
Monkey, selfie copyright lawsuit
Monkey, selfie copyright lawsuit

सान फ्रांसिस्को: कॉपीराइट को लेकर मुक़दमेबाज़ी के मामले तो आप अक़्क़सर सुनते रहते होंगे लेकिन क्या आपने कॉपीराइट को लेकर इंसान और जानवर के बीच मुक़दमेबाज़ी देखी-सुनी है? ज़ाहिर है आपका जवाब होगा कभी नहीं लेकिन ऐसा हुआ है और फ़ैसला बंदर के हक़ में गया है। ये मुक़दमा अमेरिका में हुआ था।

दरअसल ये मामला 2011 में इंडोनेशिया का है। हुआ ये कि कैमरामैन स्लाटर ने अफना कैमरा लावारिस हालत में छोड़ रखा था, इसी बीच कहीं से एक बंदर आया। उसकी नज़र कैमरे पर पड़ी, उसने कैमरा उठाया और अपनी सेल्फ़ी ले ली। बाद में जब स्लाटर ने कैमरे में बंदर की सेल्फ़ी देखी तो उन्हें बहुत हैरानी हुई। 

बहरहाल, अब सवाल ये खड़ा हो गया कि सेल्फी तो बंदर ने ली लेकिन उस पर अधिकार किसका है, बंदर का या उस कैमरामैन का जिसका कैमरा बंदर ने इस्तेमाल किया। इस अनोखे सवाल का जवाब संघीय अपीली अदालत देती उससे पहले ही अटॉर्नी ने घोषणा कर दी कि सेल्फी तस्वीर के कॉपीराइट मामले का निबटारा हो गया है। 

इस समझौते के तहत, जिस फोटोग्राफर के कैमरे का इस्तेमाल तस्वीर लेने के लिए हुआ था वह भविष्य में तस्वीरों से होने वाली कमाई का 25 फीसदी हिस्सा इंडोनेशिया में बंदरों की विशेष प्रजाति के संरक्षण का काम करने वाली धर्मार्थ संस्थाओं को देने पर राज़ी हो गया। प्राणी-अधिकार समूह के वकीलों ने कल यह जानकारी दी। स्लाटर के अटॉर्नी एंड्रयू जे धुये ने यह बताने से इनकार कर दिया कि तस्वीरों से कितनी कमाई हुई और क्या उनके मुवक्किल भविष्य की कमाई का पूरा 75 फीसदी अंश अपने पास रखेंगे। 

प्राणी-अधिकार समूह के अटॉर्नी और फोटोग्राफर डेविड स्लाटर ने सान फ्रांसिस्को स्थित नाइन्थ यूएस सर्किट कोर्ट ऑफ अपील्स से मामले को निरस्त करने और निचली अदालत के उस फैसले को रद्द करने को कहा जिसमें कहा गया था कि कॉपीराइट का अधिकार प्राणियों को नहीं मिल सकता है। 

अपीली अदालत ने तत्काल कोई फैसला नहीं किया है। पीपल फॉर एथिकल ट्रीटमेंट ऑफ एनिमल्स ने वर्ष 2015 में विशेष प्रजाति के उस बंदर की ओर से मुकदमा दायर किया था जिसने स्लाटर के कैमरा से तस्वीरें ली थी। नारूटो नाम के बंदर की ओर से पेटा ने तस्वीरों का वित्तीय नियंत्रण देने की मांग की थी। 

पेटा और स्लाटर ने संयुक्त बयान में कहा है कि वह दोनों इस बात पर सहमत हैं कि यह एक अहम मामला है जो गैर इंसान प्राणियों को कानूनी अधिकार देने से जुड़ा मुद्दा है। इस लक्ष्य का दोनों ही समर्थन करते हैं और इसे पाने के लिए वे अपना काम जारी रखेंगे।

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। US News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement