वॉशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन के साथ प्रस्तावित मुलाकात को रद्द कर दिया है। दोनों नेताओं के बीच यह शिखर वार्ता 12 जून 2018 को सिंगापुर में होनी थी। ट्रंप और किम के बीच होने वाली इस मुलाकात को रद्द करने की वजह उत्तर कोरिया द्वारा दिए गए 'भड़काऊ' बयानों को बताया गया है। व्हाइट हाउस द्वारा जारी किए गए बयान में ट्रंप ने लिखा है,‘मैं आपके साथ वार्ता को लेकर काफी उत्साहित था। दुखद रूप से आपके हालिया बयान में दिखे जबरदस्त गुस्से एवं खुली शत्रुता के आधार पर मुझे लगा कि लंबे समय से प्रस्तावित यह बैठक करना इस समय सही नहीं होगा।’
अमेरिकी राष्ट्रपति ने 24 मई की तारीख वाले अपने पत्र में कहा,‘इसलिए कृपया इस पत्र को संदेश के रूप में देखें कि दोनों पक्षों की भलाई के लिए सिंगापुर शिखर वार्ता नहीं होगी हालांकि इससे दुनिया का नुकसान होगा।’ ट्रंप ने उत्तर कोरियाई नेता को एक साफ चेतावनी देते हुए कहा,‘आप परमाणु क्षमताओं की बात करते हैं लेकिन हमारी क्षमता इतनी विशाल एवं शक्तिशाली है कि मैं ईश्वर से कामना करता हूं कि उनका कभी इस्तेमाल ना करना पड़े।’
गौरतलब है कि इससे पहले ट्रंप ने कहा था कि उत्तर कोरिया के साथ निर्धारित शिखर वार्ता ना होने पर अमेरिका अगला कदम उठाएगा। साथ ही उन्होंने दोनों नेताओं के बीच होने वाली ऐतिहासिक वार्ता पर प्योंगयांग के रुख बदलने के लिए चीन को जिम्मेदार ठहराया था। सिंगापुर में ट्रंप और किम के बीच होने वाली शिखर वार्ता पर संदेह के बादल मंडरा रहे थे क्योंकि उत्तर कोरिया ने मंगलवार को अमेरिका पर एकतरफा परमाणु निरस्त्रीकरण का आरोप लगाते हुए 12 जून को होने वाली वार्ता से पीछे हटने की धमकी दी थी। प्योंगयांग ने अमेरिका और दक्षिण कोरिया के बीच सैन्य अभ्यासों पर भी आपत्ति जताई थी।
ट्रंप ने ओवल कार्यालय में कहा था,‘हम देखेंगे की क्या होता है। अगर बैठक हुई तो हुई और अगर नहीं हुई तो हम अगला कदम उठाएंगे।’ किम को तसल्ली देने के लिए ट्रंप ने उन्हें सत्ता में रहने के लिए परमाणु हथियार त्यागने का प्रस्ताव दिया साथ ही धमकी भी दी थी कि कूटनीति विफल होने पर लीबिया जैसे हालात पैदा हो सकते हैं और उत्तर कोरियाई नेता का वही हश्र हो सकता है जैसा मुअम्मर अल-गद्दाफी का हुआ था। गद्दाफी को सत्ता से हटा उनकी हत्या कर दी गई थी। उत्तर कोरिया के अचानक शिखर वार्ता को लेकर रुख बदलने के सवाल पर ट्रंप ने कहा कि उनके चीन से मुलाकात करने के बाद ‘चीजें अचानक’ बदल गईं।