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डॉलर कमाने का सपना पाले अमेरिका गए पंजाबी युवाओं के साथ हुआ धोखा, जेलों में ठूंसे गए

जालंधर के मध्यमवर्गीय परिवार से ताल्लुक रखने वाले सिंह ने 2 साल पहले अपना गृहनगर छोड़ा था। सिंह के पिता पंजाब पुलिस में हैं जबकि मां गृहिणी हैं। एक स्थानीय ट्रैवेल एजेंट ने अमेरिका ले जाने का वादा करके उन्हें प्रलोभन दिया...

Reported by: Bhasha
Updated on: June 22, 2018 17:43 IST
American dream landing Punjabi youths in the jails of United States | Pixabay- India TV Hindi
American dream landing Punjabi youths in the jails of United States | Pixabay

वॉशिंगटन: अमेरिका में अवसरों की तलाश में कई देशों को पार करके बंटी सिंह (काल्पनिक नाम) अवैध तरीके से अमेरिका में घुस गए, लेकिन पकड़े जाने पर न्यू मेक्सिको के आप्रवासी हिरासत केंद्र में उन्हें डाल दिया गया। अब पिछले 16 महीने से वह वहीं पड़े हैं। जालंधर के मध्यमवर्गीय परिवार से ताल्लुक रखने वाले सिंह ने 2 साल पहले अपना गृहनगर छोड़ा था। सिंह के पिता पंजाब पुलिस में हैं जबकि मां गृहिणी हैं। एक स्थानीय ट्रैवेल एजेंट ने अमेरिका ले जाने का वादा करके उन्हें प्रलोभन दिया। कई महीनों के बाद विभिन्न देशों को पार करके जब उसने टेक्सस में अल पासो के निकट मेक्सिको सीमा के जरिए अमेरिका में घुसने का प्रयास किया तो उन्हें पकड़ लिया गया और तबसे वह हिरासत में है।

न्यू मेक्सिको के ओटेरो में संघीय हिरासत केंद्र में 16 महीने गुजारने के बाद सिंह को अब स्वेदश भेजे जाने की प्रक्रिया चल रही है। उन्हें फुसलाकर ले जाने वाला ट्रैवेल एजेंट फरार है। सिंह के परिवार के सदस्यों का कहना है कि वे अब तक तकरीबन 47 लाख रुपये खर्च कर चुके हैं और इसमें से ज्यादातर राशि एजेंट और उनके मामले की पैरवी करने के लिए एक स्थानीय वकील को रखने में खर्च हुई है। सिंह अकेले नहीं हैं, बल्कि ऐसे तकरीबन 100 भारतीय हैं जिन्हें अवैध तरीके से अमेरिकी सीमा को पार करने पर पकड़े जाने के बाद दक्षिण अमेरिकी राज्य न्यू मेक्सिको और ओरेगन में 2 आप्रवासी हिरासत केंद्रों में रखा गया है। इनमें से ज्यादातर पंजाब के हैं।

अधिकारियों के अनुसार, तकरीबन 40 से 45 भारतीय न्यू मेक्सिको के संघीय हिरासत केंद्र में हैं, जबकि 52 भारतीय ओरेगन स्थित हिरासत केंद्र में रखे गए हैं। इनमें से ज्यादातर सिख और ईसाई हैं। नॉर्थ अमेरिकन पंजाबी एसोसिएशन (NAPA) से जुड़े सतनाम सिंह चहल ने बताया कि हजारों भारतीय अमेरिकी जेलों में बंद हैं। इनमें से ज्यादातर पंजाब के हैं। चहल ने आरोप लगाया कि मानव तस्करों, अधिकारियों और पंजाब के नेताओं का एक गठजोड़ है जो पंजाब के युवाओं को अवैध तरीके से अमेरिका में घुसने के लिए अपना घर छोड़ने के लिए प्रोत्साहित करता है और हर व्यक्ति से 35-50 लाख रुपये वसूल किए जाते हैं।

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