Monday, December 23, 2024
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राजनीतिक बंदियों की रिहाई चाहता है यूक्रेन, जेलेंस्की ने अफ्रीकी नेताओं से मांगी मदद, रूस पर दबाव बनाने का किया आग्रह

यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की ने अफ्रीकी देशों के नेताओं से कहा कि वे राजनीतिक बंदियों की रिहाई के लिए रूस पर दबाव बनाएं।

Edited By: Niraj Kumar
Published : Jun 17, 2023 14:27 IST, Updated : Jun 17, 2023 14:27 IST
यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की
Image Source : एपी, फाइल फोटो यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की

कीव : यूक्रेन और रूस के बीच चल जंग खत्म होने का नाम नहीं ले रही है। वहीं इस युद्ध का कोई नजदीकी परिणाम भी नजर नहीं आ रहा है। इस बीच यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने अफ्रीकी नेताओं के एक समूह से आग्रह किया कि वह रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पर क्रीमिया और अन्य क्षेत्रों में बंदी बनाए गए राजनीतिक कैदियों को रिहा करने का दबाव बनाए। उन्होंने कहा कि यह मुद्दा अफ्रीकी नेताओं की रूस यात्रा का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हो सकता है। 

शांति मिशन पर निकले सात अफ्रीकी देशों के नेता

लगभग 16 महीने पहले शुरू हुए युद्ध को समाप्त करने में रूस और यूक्रेन की मदद करने के लिए शुरू किए गए ‘शांति मिशन’ के तहत सात अफ्रीकी नेताओं-कोमोरोस, सेनेगल, दक्षिण अफ्रीका और जाम्बिया के राष्ट्रपति, मिस्र के प्रधानमंत्री और कांगो गणराज्य एवं युगांडा के शीर्ष दूतों ने शुक्रवार को कीव का दौरा किया था। अफ्रीकी नेता रूसी शहर सेंट पीटर्सबर्ग की यात्रा करेंगे, जहां वे पुतिन से मिलेंगे। यूक्रेन युद्ध की समाप्ति के लिए शरू किया गया यह ‘शांति मिशन’ अफ्रीकी नेताओं की ओर से किया गया अपनी तरह का पहला प्रयास है। इससे पहले, चीन भी इस तरह की शांति पहल कर चुका है। 

खाद्यान्न -उर्वरक के लिए रूस -यूक्रेन पर निर्भर हैं अफ्रीकी देश

अफ्रीकी देशों के लिए यह मिशन अतिरिक्त महत्व रखता है, क्योंकि वे खाद्यान्न और उर्वरक के लिए रूस और यूक्रेन पर निर्भर हैं। यूक्रेन के राष्ट्रपति और अफ्रीकी देशों के नेताओं ने बंद दरवाजे के भीतर बैठक की। इसके बाद, दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामाफोसा ने जेलेंस्की और चार अफ्रीकी देशों के प्रमुखों के साथ एक संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘यह संघर्ष अफ्रीका को नकारात्मक रूप से प्रभावित कर रहा है। मैं समझता हूं कि यूक्रेन के लोगों को लगता है कि उन्हें हार नहीं माननी चाहिए और लड़ाई जारी रखनी चाहिए। शांति की राह बहुत मुश्किल है।’ 

यूक्रेन-रूस युद्ध को लेकर एकमत नहीं हैं अफ्रीकी देश

अफ्रीकी नेताओं का यह प्रतिनिधिमंडल युद्ध को लेकर अफ्रीकी देशों के भिन्न रुख का प्रतिनिधित्व करता है। दक्षिण अफ्रीका, सेनेगल और युगांडा ने जहां युद्ध को लेकर मॉस्को की निंदा करने से परहेज किया है। वहीं, मिस्र, जाम्बिया और कोमोरोस ने पिछले साले संयुक्त राष्ट्र महासभा के एक प्रस्ताव का समर्थन करते हुए मॉस्को के आक्रमण की निंदा करते हुए रूस के खिलाफ मतदान किया था। संवाददाता सम्मेलन के दौरान माहौल उस समय गरमा गया, जब कोमोरोस के राष्ट्रपति अजाली असौमानी ने शांति के लिए एक ‘रोडमैप’ का विचार पेश किया, जिस पर जेलेंस्की ने स्ष्टीकरण मांगा और जोर देकर कहा कि वह अफ्रीकी नेताओं की रूस यात्रा से पुतिन द्वारा ‘‘कोई आश्चर्यजनक कदम उठाने’’ की उम्मीद नहीं करते हैं। जेलेंस्की ने प्रतिनिधिमंडल से क्रीमिया में राजनीतिक बंदियों को मुक्त कराने में मदद देने का आग्रह किया, जिस पर रूस ने 2014 में अवैध रूप से कब्जा कर लिया था। यूक्रेन के राष्ट्रपति ने कहा, ‘क्या आप उनसे राजनीतिक बंदियों को मुक्त करने के लिए कहेंगे? संभवत: यह आपके मिशन, आपके ‘रोडमैप’ का एक महत्वपूर्ण निष्कर्ष हो।’ (भाषा)

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