रूस-यूक्रेन युद्ध को चलते करीब 16 महीने हो चुके हैं। इससे दुनिया के दूसरे देश भी परेशान होने लगे हैं। खाद्य और ऊर्जा आपूर्ति श्रृंखला टूटने से महंगाई की आग देशों को अपने चपेट में ले रही है। इसीलिए अफ्रीका के नेताओं और वरिष्ठ अधिकारियों का एक प्रतिनिधिमंडल रूस-यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने के उपाय ढूंढ़ने और अपने महाद्वीप में खाद्य पदार्थों व उर्वरकों की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए यूक्रेन पहुंचा, लेकिन शु्क्रवार को उनके दौरे के दौरान रूस ने मिसाइल से कीव पर हमला किया जो यह प्रदर्शित करता है कि उन्हें किस तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है।
प्रतिनिधिमंडल में दक्षिण अफ्रीका, सेनेगल, जाम्बिया और कोमोरोस द्वीप समूह के राष्ट्रपति शामिल हैं। प्रतिनिधिमंडल सबसे पहले कीव उपनगर बुचा गया था, जहां पिछले साल रूसी सैनिकों द्वारा राजधानी पर कब्जा करने के लिए एक अभियान छेड़ा गया और उनके क्षेत्र से हटने के बाद सड़कों पर नागरिकों के शव पाए गए थे। दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा ने कहा कि पिछले महीने यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन एक अफ्रीकी शांति मिशन के सदस्यों के साथ अलग-अलग बैठकें करने के लिए सहमत हुए थे।
यूक्रेन के बाद पीट्सबर्ग में पुतिन से भी मिलेगा प्रतिनिधि मंडल
यूक्रेन पहुंचा यह प्रतिनिधि मंडल शुक्रवार को सेंट पीटर्सबर्ग भी पहुंचेगा, जहां रूस का शीर्ष अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सम्मेल हो रहा है। प्रतिनिधि मंडल के नेता शनिवार को पुतिन से मुलाकात करेंगे। प्रतिनिधि मंडल में गांडा, मिस्र, कांगो गणराज्य के साथ-साथ दक्षिण अफ्रीका, जाम्बिया, सेनेगल और कोमोरोस के वरिष्ठ अधिकारी शामिल हैं। इस बीच, यूक्रेन की राजधानी में हवाई हमले के सायरन बजने के कुछ ही देर बाद मेयर विटाली क्लिट्सको ने शहर के सबसे पुराने इलाकों में से एक पोडिल्स्की जिले में विस्फोट होने की सूचना दी। इसके बाद, यूक्रेनी विदेश मंत्री दमित्रो कुलेबा ने ट्वीट किया, ‘‘रूसी मिसाइल अफ्रीका को एक संदेश है: रूस अधिक युद्ध चाहता है, शांति नहीं।’
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