Highlights
- रूस को धूल चटा रहा यूक्रेन का HIMARS
- HIMARS के आगे रूस का S-400 फेल हो रहा है
- 300 किलोमीटर तक है इस हथियार की रेंज
Russia Ukraine War HIMARS: रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग को छह महीने से ज्यादा का वक्त हो गया है। बावजूद इसके न तो रूस की जीत हुई है और न ही यूक्रेन की सेना जीत रही है। लेकिन फिर भी दोनों सेनाएं पूर्वी यूक्रेन के कई इलाकों में जंग को जारी रखे हुए हैं। युद्ध की शुरुआत में रूस की ताकत को भारी माना जा रहा था लेकिन अब यूक्रेन भी नाटो देशों से मिल रहे हथियारों की मदद से रूस के आगे मजबूत बनकर टिका हुआ है। एक दिन पहले ही दो महीने के बाद यूक्रेनी सेना ने रूस को खार्किव से खदेड़ दिया है। जो यूक्रेन का दूसरा बड़ा शहर है। इसके साथ ही यूक्रेन की सेना ने छह महीने बाद इज्यूम शहर पर दोबारा नियंत्रण हासिल कर लिया है।
इस युद्ध में यूक्रेन के एक हथियार को लेकर खूब चर्चा हो रही है, जिसकी मदद से वो रूस के सैनिकों को उखाड़कर फेंक रहा है। इस हथियार का नाम M142 HIMARS है। यह अमेरिका में बना एक रॉकेट सिस्टम है, जिसकी मदद से यूक्रेन की सेना अपने इलाकों को वापस हासिल कर पा रही है।
यूक्रेन के पीएम ने की HIMARS की तारीफ
यूक्रेन के प्रधानमंत्री डैनिस शिमिहाल ने देश की सेना को मिल रही सफलता पर खुशी जताई। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट्स से पता चलता है कि अमेरिका निर्मित M142 हाई मोबिलिटी आर्टिलरी रॉकेट सिस्टम (HIMARS) और एंटी-रेडिएशन एयर-टू-ग्राउंड मिसाइलों सहित लंबी दूरी की तोपें दक्षिणी और पूर्वी यूक्रेन के युद्धक्षेत्रों पर विशेष रूप से प्रभावी रही हैं। उन्होंने कहा कि HIMARS का नाम अब यूक्रेन में सभी को पता है। इस प्रणाली ने रूसी आपूर्ति श्रृंखलाओं, सैन्य ठिकानों पर कहर बरपाया है।
खार्किव और इज़्यूम में यूक्रेनी सेना की प्रगति पर, प्रधानमंत्री ने कहा, 'यह शुरुआत है, बहुत आशाजनक है। हमें इस खबर से संतुष्ट नहीं होना चाहिए। हमें कीमत का एहसास करना होगा। कीमत बहुत ज्यादा है।' HIMAR के आगे रूस का एस-400 एंटी एयर सिस्टम फेल हो गया है। इससे रूसी सैनिकों की रक्षा नहीं हो पा रही।
क्या होते हैं HIMARS?
अब बात HIMARS की करते हैं। समाचार एजेंसी एसोसिएटिड प्रेस के अनुसार, मिसाइल की सटीकता से पता चलता है कि यूक्रेन के सैनिकों ने अमेरिका द्वारा सप्लाई किए गए मल्टी लॉन्च हाई मॉबिलिटी आर्टिलरी रॉकेट सिस्टम्स का इस्तेमाल किया है, जिसे HIMARS (High Mobility Artillery Rocket Systems) कहा जाता है। खेरसोन में रूस समर्थित अधिकारियों की उप प्रमुख कटरीना गुबारेवा ने भी यही बात कही है। समाचार एजेंसियों ने गुबारेवा के हवाले से कहा है, यूक्रेन ने नोवा कखोवा में लंबी दूरी तक मार करने वाले सटीक आर्टिलरी सिस्टम्स का इस्तेमाल किया है, जो उसे अमेरिका से मिले हैं।
लंबी दूरी तक मार करने में सक्षम
HIMARS का इस्तेमाल अधिक खतरे वाले वातावरण पर किया जा सकता है। इन्हें आसानी से और बेहद कम समय में एक स्थान से दूसरे स्थान पर शिफ्ट किया जा सकता है, दुश्मन के वाहन को आग के हवाले किया जा सकता है और मिनटों में रिलोड किया जा सकता है, जिससे दुश्मन के लिए इसकी लोकेशन का पता लगाना और इस पर हमला करना मुश्किल हो जाता है। HIMARS को C-130 या उससे भी बड़े विमानों और समुद्री जहाजों से एक से दूसरे स्थान पर ले जाया जा सकता है। ऐसे में इस काम को पूरा करने के लिए अधिक लोगों की भी जरूरत नहीं पड़ती है।
300 KM तक है इनकी रेंज
HIMARS की रेंज 300 किलोमीटर तक है, यानी ये दुश्मन को 300 किलोमीटर की दूरी से भी तबाह कर सकता है। HIMARS को और विकसित करने पर अभी काम जारी है, जिससे उसकी यही क्षमता बढ़कर 499 किलोमीटर तक हो जाएगी। HIMARS अधिक महंगे नहीं हैं, तेजी से काम करते हैं और लंबी दूरी तक सटीक हमले कर सकते हैं।