वारसॉ: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यूरोप में अपनी विदेश नीति का एक बार फिर लोहा मनवाया है। रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच भारत और पोलैंड के बीच रणनीतिक साझेदारी का ऐलान हुआ है। यानि अब पोलैंड भारत का रणनीतिक साझेदार होगा। यह वही पोलैंड है, जिसने यूक्रेन युद्ध के आरंभ में वहां फंसे हजारों भारतीय नागरिकों और छात्रों को वॉर जोन से बाहर निकालने में भारत का सबसे बड़ा मददगार बना था। इसीलिए पीएम मोदी जब पोलैंड पहुंचे तो उन्होंने जमकर इस देश की सरकार और वहां के लोगों की तारीफ की।
पीएम मोदी ने पोलैंड के प्रधानमंत्री डोनॉल्ड टस्क से कहा, "आप लंबे समय से भारत के अच्छे मित्र रहे हैं। भारत और पोलैंड की मित्रता को मजबूत करने में आपका बहुत बड़ा योगदान है। आज का दिन भारत और पोलैंड के संबंधों में विशेष महत्व रखता है। आज 45 साल बाद किसी भारतीय प्रधानमंत्री ने पोलैंड का दौरा किया है। मेरे तीसरे कार्यकाल की शुरूआत में ही मुझे ये सौभाग्य मिला है। इस अवसर पर मैं पोलैंड की सरकार और यहां के लोगों का विशेष आभार व्यक्त करता हूं।
भारतीय छात्रों को सुरक्षित निकालने के लिए जताया आभाार
पीएम मोदी ने वर्ष 2022 में यूक्रेन संकट के दौरान वहां रूस-यूक्रेन में छिड़े भीषण युद्ध के बीच फंसे हुए भारतीय छात्रों को निकालने के लिए पोलैंड का आभार जताया। प्रधानमंत्री ने कहा कि भारतीयों को संकट से बाहर निकालने में आपने जो उदारता दिखाई, उसे हम भारतवासी कभी नहीं भूल सकते हैं।" इसके साथ ही उन्होंने पोलैंड को भारत का रणनीतिक साझेदार बनाने का ऐलान किया। भारत और पोलैंड के बीच रणनीतिक साझेदारी बदलते भारत की मजबूत विदेश नीति का सबसे बड़ा जीता-जागता उदाहरण है। महत्वपूर्ण यह भी है कि भारत ने यूरोप के इस देश के साथ अपनी रणनीतिक साझेदारी का ऐलान ऐसे वक्त में किया है जब रूस और यूक्रेन के बीच भीषण युद्ध चल रहा है और भारत दोनों देशों के बीच शांति लाने के लिए मध्यस्थता का प्रयास कर रहा है। भारत सबके साथ समान रिश्ते की अपनी नई सोच के साथ आगे बढ़ रहा है।
राष्ट्रपति एंड्रेज डूडा से मुलाकात के बाद किया ये ट्वीट
पीएम मोदी ने पोलैंड के राष्ट्रपति एंड्रेज डूडा से मुलाकात के बाद एक खास ट्वीट किया। उन्होंंने लिखा कि वारसॉ में पोलैंड के राष्ट्रपति ए़ंड्रेज डूडा से मिलकर खुशी हुई। भारत-पोलैंड संबंधों को गहरा करने के तरीकों पर हमारी उत्कृष्ट चर्चा हुई। भारत पोलैंड के साथ मधुर संबंधों को बहुत महत्व देता है। हम आने वाले समय में अपने देशों के बीच वाणिज्यिक और सांस्कृतिक संबंधों को बढ़ावा देने के लिए तत्पर हैं।
संयुक्त राष्ट्र में सुधारों को बताया समय की जरूरत
प्रधानमंत्री मोदी ने अपनी पोलैंड यात्रा के दौरान यह भी बताया कि भारत और पोलैंड इस बात पर सहमत हैं कि वैश्विक चुनौतियों से निपटने के लिए संयुक्त राष्ट्र और अन्य विश्व संस्थानों में सुधार समय की जरूरत है। बता दें कि भारत लंबे समय से संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सुधार की मांग करता रहा है। भारत इसका स्थाई सदस्य बनने का सबसे बड़ा और प्रबल दावेदार है। पोलैंड भारत की इस दावेदारी का समर्थक रहा है। भारत और पोलैंड के रिश्ते अब रणनीतिक साझेदारी में बदलने जा रहा है। पीएम मोदी ने कहा कि यह फैसला कर लिया गया है।
पीएम मोदी ने पोलैंड में अज्ञात सैनिकों को दी श्रद्धांजलि
अपनी यात्रा के दौरान पीएम मोदी ने पोलैंड की राजधानी वॉरशा में अज्ञात सैनिकों की कब्र पर जाकर पुष्पांजलि अर्पित की। प्रधानमंत्री मोदी ने अपने एक्स हैंडल पर इन तस्वीरों को साझा भी किया है।