अंकारा: आखिरकार तुर्की ने सीरियाई सीमा के नजदीक स्थित अपने एक मुख्य सैन्य अड्डे से इस्लामिक स्टेट (ISIS) के खिलाफ अमेरिका को हवाई हमले करने की इजाजत दे दी है। पहले तुर्की अपने सैन्य अड्डों का इस्तेमाल ISIS के खिलाफ करने की अनुमति नहीं दे रहा था। फिलहाल यह जानकारी अमेरिकी अधिकारियों की तरफ से दी गई है, लेकिन कई महीनों तक चली वार्ताओं के बाद दोनों देशों में हुए समझौते की पुष्टि अभी तुर्की की तरफ से नहीं की गई है।
तुर्की की नीति में हालिया बदलाव की वजह कथित रूप से ISIS द्वारा कराया गया आत्मघाती हमला है, जिसमें 32 निर्दोष लोगों की मौत हो गई थी। उस हमले में मरने वाले अधिकांश लोग विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले विद्यार्थी थे। तुर्की ने हमले के लिए ISIS को ही दोषी ठहराया था। समझौते पर अंतिम मुहर अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा और उनके तुर्की समकक्ष रेसेप तईप एडरेगन के बीच बुधवार को हुई फोन वार्ता के दौरान लगी।
अमेरिकी अधिकारियों ने बीबीसी को इसकी पुष्टि की।
तुर्की स्थित इनसर्लिक हवाईअड्डे से अमेरिका के लिए इस्लामिक स्टेट पर हमले करना और आसान हो जाएगा। इराक के पूर्व नेता सद्दाम हुसैन पर हमले के दौरान इस अड्डे का इस्तेमाल किया गया था, जिससे इस्लामिक स्टेट के गढ़ राका की दूरी भी कम हो जाती है। तुर्की, इस्लामिक स्टेट के खिलाफ अभियान में अमेरिका की तरफ से तैयार किए गए गठबंधन का हिस्सा है, लेकिन सीरिया संकट को लेकर इसकी अलग राय के कारण यह इसमें पूरी तरह से सहयोग नहीं दे रहा था। तुर्की सरकार की यह दलील है कि अंतर्राष्ट्रीय गठबंधन की पहली प्राथमिकता राष्ट्रपति बशर अल-असद को सत्ता से हटाना और फिर इस्लामिक स्टेट पर हमले करना होना चाहिए।
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