लंदन: ब्रिटिश पुलिस ने दक्षिणी इंग्लैंड में गोली चलने की आवाज सुने जाने की शिकायत पर एक 47 वर्षीय सिख शख्स और उसके बेटे को बंदूक के बल पर पकड़कर हथकड़ियां पहना दीं। हालांकि बाद में पता चला कि यह असल में उनकी गाड़ी के टायर के फटने की आवाज थी। सुक्खी रयात ने हेर्टफोर्डशायर के हिचिन में अपने प्रांगण में अपनी गाड़ी पार्क की थी। इसके कुछ देर बाद ही दस बारह हथियारबंद पुलिसकर्मी कुाों समेत उनके बगीचे में घुस आए और उन्हें दीवार की तरफ धकेल कर हथकड़ी पहना दी।
रयात ने एक ऑनलाइन समाचार पत्र मेट्रो को बताया, ‘मैं अपनी कार में कुछ देर के लिए बैठा रहा क्योंकि मै उस कंपनी को फोन लगा रहा था जिससे मैंने गाड़ी लीज पर ली थी। मैं जैसे ही बाहर निकला, न जाने पुलिस कहां से राइफल और न जाने क्या-क्या लिए आ गई। उनके साथ कुत्ते भी थे।’ रयात ने बताया कि उनके 17 साल के बेटे हरकीत को भी दीवार पर धक्का देकर हथकड़ी लगा दी गई। 1979 से वहां रहे रयात ने कहा, ‘मैंने दरवाजा खोला और अधिकारी ने बंदूक मेरी तरफ करते हुए मुझसे हाथ ऊपर करने के लिए कहा। उसके बाद उसने मुझे पकड़ दीवार पर धक्का दे दिया। वह मुझे मुख्य सड़क पर ले गए और मेरी तलाशी ली।’
पुलिस का कहना है कि किसी ने रयात की गाड़ी से गोली चलने की आवाज सुनकर शिकायत की जिसके बाद यह छापा मारा गया। हालांकि शिकायतकर्ता ने 3 बार अपने आरोप बदले। रयात की 20 वर्षीय बेटी मनमीत कौर ने पुलिसवालों से आग्रह किया कि वह उस कमरे में जूते खोलकर जाएं जहां सिख धर्म के पवित्र ग्रंथ रखे थे लेकिन उन्होंने उनकी बात को अनदेखा कर दिया। मनमीत ने पुलिस के इस रवैये की बहुत आलोचना की। उन्होंने कहा, ‘वह बहुत डरावना था, लेकिन अब मैं किसी से भी ज्यादा गुस्से में हूं।’ हेर्टफोर्डशायर की एक पुलिस प्रवक्ता ने कहा कि अधिकारियों का फर्ज है कि वह प्राप्त सूचना के आधार पर कार्रवाई करें। उन्होंने तलाशी के दौरान की गई बदसलूकियों के लिए माफी मांगी।