Chinese warship arrived in Bangladesh: भारत और चीन के बीच लद्दाख की सीमा पर बने तनाव के बीच ड्रैगन ने अपना एक युद्धक पोत बांग्लादेश भेज दिया है। बांग्लादेश भारतीय सीमा से लगा देश है। यानि कहा जा सकता है कि चीन का यह युद्धक पोत एक तरह से भारत की सीमा तक ही आ गया है। मगर चीन ने अपने ये युद्धक पोत क्यों और किस लिए भेजा है, आखिर इसका मकसद क्या हो सकता है?...तो इस बारे में आपको बताते हैं।
दरअसल बांग्लादेश नौसेना के निमंत्रण पर चीनी केंद्रीय सैन्य आयोग के अनुमोदन मिलने के बाद चीनी दक्षिणी थियेटर कमांड ग्राउंड फोर्स की नौसेना विध्वंसक टुकड़ी छांगशा जहाज 25 नवंबर को दोपहर बाद बांग्लादेश के लिए रवाना हो गया था। वह अंतर्राष्ट्रीय जहाज परेड में भाग लेने के लिए बांग्लादेश आ रहा है। बांग्लादेश जल्द ही अपने राष्ट्रपिता शेख मुजीबुर्रहमान की 100वीं जयंती और बांग्लादेश की स्वतंत्रता की 50वीं वर्षगांठ मनाने के लिए समारोह आयोजित करेगा। चीनी नौसेना दिसंबर की शुरुआत में समारोह में भाग लेने के लिए बांग्लादेश में एक प्रतिनिधिमंडल भेजेगी और छांगशा जहाज आयोजित होने वाले अंतर्राष्ट्रीय जहाज परेड में भाग लेगा।
चीनी नौसेना दिखाएगी समुद्र में ताकत
चीन के छांगशा जहाज के मिशन कमांडर जो यान ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय जहाज परेड में भाग लेने के लिए बांग्लादेश जाने का उद्देश्य दोनों देशों और दोनों सेनाओं के बीच पारंपरिक दोस्ती को मजबूत करना है। साथ ही साथ दोनों देशों की नौसेनाओं के बीच व्यावहारिक आदान-प्रदान और सहयोग को गहरा करना भी है। इस दौरान चीनी नौसेना की अच्छी छवि का प्रदर्शन किया जाएगा। जहाज परेड को समुद्र में सैन्य परेड और जहाज देखने की रस्म भी कहा जाता है। वह आंतरिक रूप से देश के प्रमुख द्वारा नौसेना की सलामी लेना है, जबकि बाह्य रूप से एक राज्य-स्तरीय विदेशी मामलों की गतिविधि है। हाल के वर्षों में चीनी नौसेना ने विदेशों में अंतर्राष्ट्रीय जहाज परेड में भाग लेने के लिए चेंगचो, पिनचो, वुहू और थाइयुआन जहाजों को क्रमिक रूप से भेजा है। छांगशा जहाज चीन द्वारा स्वतंत्र रूप से विकसित डिजाइन और निर्मित एक नए प्रकार का मिसाइल विध्वंसक है। हालांकि भारत के पास भी आइएनएस विक्रांत जैसा खतरनाक युद्धपोत है।