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Taliban News: तालिबान के एक साल, महिलाओं के लिए नर्क बना अफगानिस्तान

Taliban News: तालिबान के अफगानिस्तान में एक साल पूरे होने पर ह्यूमन राइट्स वॉच ने कहा कि तालिबान ने एक साल पहले अफगानिस्तान पर कब्जा करने के बाद से मानवाधिकारों और महिलाओं के अधिकारों का सम्मान करने के सारे वादे तोड़े हैं।

Edited By: Sushmit Sinha @sushmitsinha_
Updated on: August 11, 2022 21:45 IST
Taliban- India TV Hindi
Image Source : AP FILE Taliban

Highlights

  • तालिबान के एक साल
  • महिलाओं के लिए नर्क बना अफगानिस्तान
  • अर्थव्यवस्था ध्वस्त हो गई है

Taliban News: तालिबान ने 15 अगस्त 2021 को अफगानिस्तान पर पूर्ण रूप से कब्जा कर लिया था। यानि 4 दिनों में अफगानिस्तान पर उसके कब्जे के एक साल पूरे हो जाएंगे। तालिबान के अफगानिस्तान में एक साल पूरे होने पर ह्यूमन राइट्स वॉच ने कहा कि तालिबान ने एक साल पहले अफगानिस्तान पर कब्जा करने के बाद से मानवाधिकारों और महिलाओं के अधिकारों का सम्मान करने के सारे वादे तोड़े हैं। 15 अगस्त, 2021 को काबुल पर कब्जा करने के बाद, तालिबान अधिकारियों ने महिलाओं और लड़कियों के अधिकारों पर गंभीर प्रतिबंध लगा दिए, मीडिया को दबा दिया, और मनमाने ढंग से आलोचकों और कथित विरोधियों को हिरासत में लिया, प्रताड़ित किया, और कुछ को मार डाला।

अर्थव्यवस्था ध्वस्त हो गई है

ह्यूमन राइट्स वॉच ने कहा कि तालिबान के मानवाधिकारों के हनन की चारों ओर से निंदा हुई। अर्थव्यवस्था ध्वस्त हो गई है। विदेशी सहायता में कटौती हुई है और अंतरराष्ट्रीय आर्थिक लेनदेन को प्रतिबंधित कर दिया गया है। 90 प्रतिशत से अधिक अफगान लगभग एक वर्ष से खाने को तरस रहे हैं, जिसके कारण लाखों बच्चे गंभीर कुपोषण से पीड़ित हैं। ह्यूमन राइट्स वॉच के अफगानिस्तान के शोधकर्ता फेरेश्ता अब्बासी ने कहा, अफगान के लोग मानवाधिकारों के बुरे सपने में जी रहे हैं, ये तालिबान क्रूरता और अंतरराष्ट्रीय उदासीनता दोनों के शिकार हैं।

अफगानिस्तान का भविष्य अंधकार में

अफगानिस्तान का भविष्य तब तक अंधकारमय रहेगा जब तक कि विदेशी सरकारें तालिबान अधिकारियों के साथ अधिक सक्रिय रूप से काम नहीं करती। ह्यूमन राइट्स वॉच ने कहा कि तालिबान के बहुत ही खराब मानवाधिकार रिकॉर्ड और अंतरराष्ट्रीय वित्तीय संस्थानों के साथ सार्थक रूप से न जुड़ने से अलगाव और बढ़ गया है। विदेशी सरकारों को वैध आर्थिक गतिविधि और मानवीय सहायता की सुविधा के लिए देश के बैंकिंग क्षेत्र पर प्रतिबंधों में ढील देनी चाहिए, लेकिन तालिबान को अधिकारों के हनन को कम करने और दुरुपयोग के लिए जिम्मेदारी लेने की आवश्यकता है।

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Image Source : AP FILE
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अब्बासी ने कहा, तालिबान को लड़कियों और महिलाओं को स्कूल नहीं भेजने के अपने गलत फैसले को तत्काल वापस लेना चाहिए। इससे यह संदेश जाएगा कि तालिबान अपनी कार्रवाइयों पर फिर से विचार करने को तैयार है। महिलाओं और लड़कियों पर आर्थिक संकट का प्रभाव विशेष रूप से गंभीर है, क्योंकि इनकी सहायता और स्वास्थ्य देखभाल प्राप्त करने में कठिनाइयां बढ़ रही हैं।

मानवीय स्थिति और भी बदतर होगी

ह्यूमन राइट्स वॉच ने कहा कि मानवीय स्थिति और भी बदतर होगी अगर संयुक्त राष्ट्र और अन्य सहायता प्रदाताओं ने 2022 में अपने कार्यों में पर्याप्त वृद्धि नहीं की। अब्बासी ने कहा, सत्ता में एक साल के बाद, तालिबान नेताओं को अपने द्वारा पैदा की गई तबाही को पहचानना चाहिए और अपने फैसले वापस लेने चाहिए, इससे पहले कि और अधिक अफगान पीड़ित हों और अधिक जानें चली जाएं।

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