South China Sea: दक्षिण चीन सागर में चीन अपनी दादागिरी से छोटे देशों पर रौब झाड़ता है। इसी बीच फिलिपींस ने आरोप लगाया है कि चीन के जहाज ने उसकी बोट को जानबूझकर टक्कर मार दी। यह घटना सेकंड थॉमस शोल की है, जो दक्षिण चीन सागर का इलाका है। फिलिपींस इस जगह को आयुंगिन शोल कहता है। फिलिपींस ने आरोप लगाया कि दक्षिण चीन सागर में चीन के कोस्टगार्ड के जहाज ने उसकी एक सप्लाई बोट पर टक्कर मारी। फिलीपींस के रक्षा सचिव गिलबर्तो टीयोडोरो ने दावा किया कि चीनी कोस्ट गार्ड और मैरिटाइम मिलिशिया जहाज ने अंतरराष्ट्रीय कानून तोड़ते हुए जानबूझकर हमारी सप्लाई बोट और कोस्टगार्ड शिप को टक्कर मारी।
फिलिपींस ने चीन के राजदूत को किया तलब
उन्होंने बताया कि फिलीपींस की सरकार ने चीन के राजदूत हुआंग जिलियान को चीनी सरकार की लापरवाह और अवैध कृत्य की निंदा करने के लिए तलब किया गया था। मामला यह था कि फिलीपींस के कोस्ट गार्ड के कोमोडोर जे तारिएला ने बताया कि करीब 5 चीनी कोस्टगार्ड शिप, 8 जहाज और 2 नौसेना जहाजों ने फिलीपींस की दो कोस्टगार्ड शिप और दो सप्लाई बोट को रोक दिया था। तारिएला ने दावा किया कि इस दौरान फिलीपींस की एक कोस्ट गार्ड शिप और सप्लाई बोट को चीनी जहाजों ने टक्कर मार दी।
चीन ने फिलिपींस के दावों को किया खारिज
उधर, चीन ने फिलिपींस के आरोपों को खारिज कर दिया है। चीन ने कहा कि फिलिपींस के जहाज वहां मछली पकड़ रहे चीनी जहाजों से टकराए। सोमवार को चीन के दूतावास ने कहा कि उसने अपने जहाजों के अतिक्रमण पर फिलीपींस के सामने कड़ा विरोध दर्ज कराया है। दरअसल, साल 2022 में फर्डिनेंड मार्कोस जूनियर के फिलीपींस की सत्ता में आने के बाद से दक्षिण चीन सागर में चीन से तनाव ज्यादा ही बढ़ गया है। न्यूज एजेंसी के मुताबिक, मार्कोस की सरकार आने के बाद से अब तक फिलीपींस कम से कम 122 बार दक्षिण चीन सागर में चीन की आक्रामकता को लेकर राजनियक विरोध दर्ज करा चुका है।
दोनों देशों के झगड़े में अमेरिका भी कूदा, फिलिपींस का दिया साथ
फिलीपींस और चीन के बीच दक्षिण चीन सागर में तनातनी को लेकर अमेरिका ने भी बयान दिया है। अमेरिका ने चेतावनी देते हुए कहा है कि वो फिलीपींस का साथ देने के लिए बाध्य है अमेरिका ने बयान जारी कर कहा, 'दक्षिण चीन सागर में कहीं भी अगर फिलीपींस की सेना, जहाज और एयरक्राफ्ट पर सशस्त्र हमला होता है तो 1951 की संधि के तहत वो फिलीपींस का साथ देने के लिए बाध्य है।' अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा, 'अमेरिका चीन की खतरनाक और गैरकानूनी कार्रवाइयों के खिलाफ फिलीपींस के साथ खड़ा है।' अमेरिका ने इस टकराव के लिए चीन के जहाजों को जिम्मेदार को ठहराया और कहा कि उन्होंने फिलीपीनी जहाजों को रोककर अंतरराष्ट्रीय कानूनों का उल्लंघन किया।