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मालदीव के पूर्व राष्ट्रपति ने मुइज्जू को दी नसीहत, कहा- अड़ियल रुख छोड़ भारत के साथ दूर करें मतभेद

मलदीव के पूर्व राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सोलिह ने कहा है कि मालदीव को अड़ियल रुख अपनाना बंद करना चाहिए और भारत बातचीत करनी चाहिए। ऐसे कई पक्षकार हैं जो हमारी मदद कर सकते हैं। सोलिह ने मुइज्जू को नसीहत भी दी है।

Edited By: Amit Mishra
Published on: March 25, 2024 12:56 IST
मोहम्मद मुइज्जू (फाइल फोटो)- India TV Hindi
Image Source : सोशल मीडिया मोहम्मद मुइज्जू (फाइल फोटो)

माले: मलदीव के पूर्व राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सोलिह ने देश के मौजूदा राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू को नसीहत दी है कि वो अपनी जिद छोड़कर आर्थिक चुनौतियों से निपटने के लिए पड़ोसी देश भारत से बातचीत करें। सोलिह का ये बयान ऐसे समय आया है जब मालदीव के राष्ट्रपति मुइज्जू को दुनियाभर में चीन समर्थक नेता के तौर पर देखा जा रहा है। सोलिह ने अपने मुइज्जू को ‘अड़ियल’ रवैया छोड़ने और वित्तीय चुनौतियों से निपटने के लिए पड़ोसियों के साथ बातचीत करने की सलाह दी है। सोलिह ने यह टिप्पणी तब सामने आई है जब कुछ दिन पहले चीन समर्थक माने जाने वाले मुइज्जू ने भारत से द्वीपीय देश को ऋण राहत देने का आग्रह किया था। मुइज्जू (45)ने पिछले साल सितंबर में हुए राष्ट्रपति चुनाव में सोलिह (62) को हराया था। 

'भारत के कारण नहीं हैं चुनौतियां'

माफन्नू के चार संसदीय निर्वाचन क्षेत्रों से चुनाव लड़ रहे मालदीवियन डेमोक्रेटिक पार्टी (एमडीपी) के उम्मीदवारों के लिए समर्थन जुटाने के वास्ते माले में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सोलिह ने कहा कि उन्होंने मीडिया में छपी खबरें देखी हैं जो बताती हैं कि मुइज्जू ऋण पुनर्गठन के लिए भारत से बात करना चाहते हैं। अधाधु डॉट कॉम नाम की समाचार वेबसाइट के मुताबिक सोलिह ने कहा, ‘‘लेकिन वित्तीय चुनौतियां भारत के ऋण के कारण नहीं हैं।’’

मालदीव पर है चीन का कर्ज

सोलिह ने कहा कि मालदीव पर चीन का 18 अरब मालदीवियन रूफिया (एमवीआर) का कर्ज है, जबकि भारत का आठ अरब एमवीआर का कर्ज है और उसकी भुगतान अवधि भी 25 साल है। उन्होंने कहा, ‘‘हालांकि, मुझे विश्वास है कि हमारे पड़ोसी मदद करेंगे। हमें अड़ियल रुख अपनाना बंद करना चाहिए और बातचीत करनी चाहिए। ऐसे कई पक्षकार हैं जो हमारी मदद कर सकते हैं। लेकिन वह (मुइज्जू) समझौता नहीं करना चाहते। मुझे लगता है कि वे (सरकार) अब स्थिति को समझने लगे हैं।’’ पूर्व राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार जनता को धोखा दे रही है और एमडीपी सरकार की तरफ से शुरू की गई परियोजनाओं को दोबारा शुरू कर रही है। उन्होंने कहा कि मंत्री अब उस झूठ को छुपाने के लिए झूठ बोल रहे हैं।

मुइज्जू ने की थी भारत की आलोचना 

मुइज्जू ने राष्ट्रपति चुनाव अभियान के दौरान और उसके बाद भारत की आलोचना की थी और नवंबर में उनके पदभार संभालने के बाद से दोनों देशों के बीच संबंध खराब हो गए हैं। उन्होंने मालदीव में मानवीय और चिकित्सा निकासी के लिए उपयोग किए जाने वाले तीन विमानन ठिकानों पर तैनात 88 भारतीय सैन्य कर्मियों को 10 मई तक पूरी तरह से वापस बुलाने की मांग की है। 26 भारतीय सैन्य कर्मियों की पहली टीम पहले ही मालदीव छोड़ चुकी है और उनकी जगह गैर सैन्यकर्मियों ने ली है। 

बदल रहे मुइज्जू के सुर 

मुइज्जू ने अपने पहले मीडिया साक्षात्कार में दावा किया कि उन्होंने ऐसा कोई कदम नहीं उठाया है या ऐसा कोई बयान नहीं दिया है जिससे दोनों देशों के रिश्तों में तनाव आए। मालदीव समाचार पोर्टल एडिशन डॉट एमवी ने बृहस्पतिवार को एक खबर के मुताबिक मुइज्जू ने कहा कि भारत, मालदीव का सबसे करीबी सहयोगी बना रहेगा और इस बात पर जोर दिया कि इसके बारे में कोई सवाल ही नहीं है। मालदीव में 21 अप्रैल को होने वाले संसदीय चुनाव से पहले मुइज्जू की भारत के प्रति सुलह समझौते वाली टिप्पणी आई है। भाषा

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