Monday, November 04, 2024
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भारत-पाकिस्तान के रिश्ते हो चुके हैं हवा, फिर भी हिंदुस्तान दे रहा पाक के "दर्द की दवा", जानें कैसे

भारत और पाकिस्तान भले ही एक दूसरे के दुश्मन हैं, मगर हिंदुस्तान मानवता को सबसे ऊपर रखता है। यही वजह है कि पाकिस्तान में कैंसर से लेकर अन्य गंभीर बीमारियों की दवाएं और टीके भारत से निर्यात किए जा रहे हैं। पाकिस्तान ने भी वक्त की नजाकत को समझते हुए अपने देश के अस्पतालों और दवा कारोबारियों को आयात की छूट दी है।

Edited By: Dharmendra Kumar Mishra @dharmendramedia
Published on: August 11, 2023 16:03 IST
भारत-पाकिस्तान के राष्ट्रीय ध्वज।- India TV Hindi
Image Source : FILE भारत-पाकिस्तान के राष्ट्रीय ध्वज।

भारत और पाकिस्तान एक दूसरे के कट्टर दुश्मन हैं। दोनों देशों के बीच पुलवामा हमले और उसके बाद पीओके व बालाकोट में हुई सर्जिकल स्ट्राइक के बाद से ही संबंध पूरी तरह खत्म हो चुके हैं। दोनों देशों में कोई वार्तालाप तक नहीं है। इसके बावजूद मानवता का पुजारी हिंदुस्तान पाकिस्तान के मरीजों के गंभीर रोगों की दवा भेज रहा है। हालत यह है कि पाकिस्तान के पास दवा के पैसे चुकाने तक के पैसे नहीं हैं, इसके बावजूद भारत कैंसर से लेकर अन्य गंभीर बीमारियों की दवाएं और टीकों का निर्यात कर रहा है। इससे जाहिर होता है कि भारत की दुश्मनी मानवता से नहीं, बल्कि आतंक से है।

नकदी संकट से जूझ रहे पाकिस्तान के दवा नियामक ने भी कहा है कि अस्पतालों और आम नागरिकों के अपने इस्तेमाल के लिए भारत से कैंसर रोधी दवाओं और टीकों सहित महत्वपूर्ण दवाएं आयात करने पर प्रतिबंध नहीं है। मीडिया की एक खबर में शुक्रवार को यह जानकारी दी गई। समाचार पत्र ‘द न्यूज इंटरनेशनल’ की खबर के अनुसार, ड्रग रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ पाकिस्तान (डीआरएपी) ने बृहस्पतिवार को कहा कि आयात नीति आदेश 2022 के तहत अपने उपयोग के लिए भारत से महत्वपूर्ण दवाएं (कैंसर रोधी दवाएं और टीके) आयात करने पर अस्पतालों या आम आदमी पर कोई प्रतिबंध नहीं है। हालांकि इसके लिए प्राधिकरण से पहले आपत्ति प्रमाण पत्र (एनओसी) लेना होगा।

पाकिस्तन ने अपने देश के अस्पतालों और दवा कारोबारियों को भारत से मेडिसिन आयात की छूट दी

डीआरएपी अधिकारियों का बयान स्वास्थ्य पर सांसदों की स्थायी समिति के एक सत्र के दौरान आया। सत्र में सांसद प्रोफेसर मेहर ताज रोगानी ने वित्तीय संकट के बीच देश में कई आवश्यक दवाओं की अनुपलब्धता का मुद्दा उठाया था। डीआरएपी के अधिकारियों ने इस पर कहा, ‘‘ पाकिस्तान में कुछ आवश्यक दवाओं की अनुपलब्धता को देखते हुए, आम लोग और अस्पताल भारत से सीधे दवाएं आयात करने के लिए एनओसी के लिए आवेदन कर सकते हैं। वर्तमान में आयात नीति आदेश 2022 के तहत भारत से किसी भी दवा के आयात पर कोई प्रतिबंध नहीं है।’’ (भाषा)

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