New Government be Formed in Nepal: नेपाल के राष्ट्रीय चुनाव में किसी भी पार्टी को पूर्ण बहुमत नहीं मिला है। यहां 275 सीटों वाले प्रतिनिधि सभा में 89 सीटें जीतकर नेपाली कांग्रेस देश की सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। इस बीच नेपाल के प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा ने अपनी पार्टी नेपाली कांग्रेस नीत पांच दलों के गठबंधन ने नयी सरकार के गठन के लिए समान विचारधारा वाले दलों के साथ बातचीत तेज कर दी है। यह गठबंधन 275 सदस्यीय प्रतिनिधि सभा में 136 सीटें हासिल करने के बाद बहुमत से दो सीट दूर है।
निर्वाचन आयोग द्वारा बुधवार को आनुपातिक मतदान प्रणाली के तहत सभी राजनीतिक दलों को सीटें आवंटित किए जाने के बाद नेपाली कांग्रेस (एनसी) 89 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी है। सत्तारूढ़ गठबंधन के अन्य सहयोगियों ने मिलकर 47 सीटें हासिल की हैं, जिसमें सीपीएन-माओवादी सेंटर (32), सीपीएन-यूनिफाइड सोशलिस्ट (10), लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी (चार) और राष्ट्रीय जनमोर्चा (एक) शामिल है। सीके राउत के नेतृत्व वाली जनमत पार्टी, जिसने फर्स्ट-पास्ट-द-पोस्ट श्रेणी के तहत प्रतिनिधि सभा (एचओआर) में केवल एक सीट हासिल की, को आनुपातिक प्रतिनिधित्व (पीआर) श्रेणी के तहत पांच सीटें मिलीं, जिसका अर्थ है कि पार्टी के सदन में कुल छह सदस्य होंगे। सूत्रों ने बताया कि पिछले हफ्ते प्रधानमंत्री देउबा ने प्रधानमंत्री आवास पर राउत से मुलाकात की और आने वाले दिनों में सहयोग करने से संबंधित मामलों पर चर्चा की।
नेपाली कांग्रेस गठबंधन बना सकती है सरकार
अगर जनमत पार्टी एनसी के नेतृत्व वाले गठबंधन का समर्थन करती है, तो सत्तारूढ़ गठबंधन के पास सरकार बनाने के लिए आवश्यक 138 से चार अधिक यानी 142 सांसदों का समर्थन होगा। रविवार को एनसी नेता राम चंद्र पौडेल ने कहा कि जो सरकार बनने वाली है वह गांव में राजनीतिक स्थिरता, सुशासन, विकास और रोजगार देगी। इस बीच, पूर्व प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के नेतृत्व वाली सीपीएन-यूएमएल को आनुपातिक मतदान प्रणाली के तहत सबसे अधिक वोट मिले हैं, जबकि एनसी और सीपीएन-माओवादी सेंटर ने क्रमशः दूसरा और तीसरा स्थान हासिल किया है। आनुपातिक मतों के आवंटन के बाद विपक्षी सीपीएन-यूएमएल के पास 78 सीटें हैं। इसी तरह, आरएसपी को 20 सीटें, आरपीपी को 14 सीटें और जेएसपी को 12 सीटें मिली हैं। प्रतिनिधि सभा और सात प्रांतीय विधानसभाओं के चुनाव 20 नवंबर को आयोजित किए गए थे ताकि हिमालयी राष्ट्र में लंबे समय से चली आ रही राजनीतिक अस्थिरता को समाप्त किया जा सके।
भारत के समर्थक हैं शेर बहादुर देउबा
नेपाल के मौजूदा पीएम शेर बहादुर देउबा भारत के समर्थक हैं। उनके भारत सरकार के साथ मधुर रिश्ते हैं। इस बार उनकी पार्टी नेपाली कांग्रेस दोबारा गठबंधन करके सरकार बनाती नजर आ रही है। अगर शेर बहादुर देउबा दोबारा पीएम बनते हैं तो यह भारत के लिहाज से अच्छा होगा। जबकि मुख्य विपक्षी दल सीपीएन के नेता और पूर्व पीएम केपी शर्मा ओली सिर्फ 32 सीटें ही हासिल कर सके हैं। वह माओवादी हैं और चीन के समर्थक हैं। उनके पीएम रहते भारत और नेपाल के रिश्तों में कड़वाहट आ गई थी।