नई दिल्ली: थाईलैंड की गुफा में 17 दिन तक चार किलोमीटर अंदर फंसे बच्चों को मंगलवार को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। आज इस रेस्क्यू ऑपरेशन की तस्वीरें सामने आई हैं। इस वीडियो को देखकर साफ पता चलता है कि यह रेस्क्यू ऑपरेशन कितना मुश्किल था। जिन गुफाओं में बच्चे फंसे थे उसके भीतर जाने का रास्ता पानी में डूबा हुआ था। नेवी सील्स और बचाव दल के अन्य सदस्यों को पानी के भीतर रास्ता खोजना था।
गुफा के रास्ते भी इतने संकरे थे कि कई जगह तो एक इंसान का निकलना भी मुश्किल था। ऐसे संकरे रास्तों से नेवी सील्स बच्चों को सुरक्षित बाहर ला रहे थे। रास्ता भटके ना इसके लिए रेस्क्यू टीम ने एक रस्सी लगायी थी, उसी के सहारे बच्चों को बाहर लाया गया।
बच्चे 17 दिन से अंधेरी गुफा में थे इसलिए उन्हें बाहर लाते वक्त भी बहुत सावधानी बरती गई। एक अफसर ने बताया कि गुफा से निकालने से पहले बच्चों को कुछ ऐसी दवाएं दी गई थीं जिसके असर के कारण उनके अंदर की घबराहट और डर खत्म हो गया था। बाहर लाते वक्त भी बच्चों के शरीर को पूरी तरह ढ़ंक दिया गया था जिससे टेंपरेचर में अचानक बदलाव का असर न हो। अचानक आंखों में रौशनी पड़ने से दिक्कत न हो। नेवी सील्स इन बच्चों को स्ट्रेचर पर ला रहे थे। बच्चों को एमर्जेंसी थर्मल ब्लैंकेट से कवर किया गया था।
अब इन बच्चों का हॉस्पिल में इलाज चल रहा है। परिवार वाले भी उन्हें कांच की दीवार के दूसरी तरफ से ही देख पा रहे हैं। रेस्क्यू के बाद पहली बार हॉस्पिटल में मौजूद इन बच्चों का वीडियो भी जारी किया गया। अस्पताल में सभी बच्चे ठीक कंडिशन में दिख रहे हैं, उनके चेहरे पर हरे रंग का मास्क है, डॉक्टर्स और नर्सेज से ये बच्चे आराम से बातचीत कर रहे हैं।
मीडिया के कैमरों की तरफ इन बच्चों ने विक्ट्री साइन बना कर बताया कि वे लोग अच्छे हैं। इन बच्चों का पूरा खयाल रखा जा रहा है। थाईलैंड के पब्लिक हेल्थ इंस्पेक्टर ने बताया कि 17 दिन गुफा में रहने के बाद इन बच्चों का औसतन दो किलो वजन कम हुआ है, इन बच्चों के पास जब खाना खत्म हो गया था, तब ये गुफा में टपकता पानी पी कर खुद को जिंदा रख रहे थे।