बेरूत: तुर्की और रूस के बीच सहमति के बाद उत्तरी सीरिया में शुक्रवार को संघर्ष विराम लागू हो गया। इस संघर्ष विराम का उद्देश्य भीषण लड़ाई और दोनों देशों की सेनाओं के बीच टकराव की आशंका को रोकना है। सीरिया के इदलिब प्रांत में हिंसा बढ़ने के बाद रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और तुर्की के उनके समकक्ष रजब तैयब एर्दोआन के बीच यह समझौता हुआ है।
तुर्की इदलिब में रूस समर्थित सरकारी सुरक्षा बलों से लड़ रहा है। इदलिब में संघर्ष के बाद लाखों लोग अपने घरों को छोड़ चुके हैं। इस दौरान तुर्की के कई सैनिक भी मारे गए हैं। पुतिन और एर्दोआन ने मॉस्को में छह घंटे से ज्यादा चली बातचीत के बाद शुक्रवार की मध्य रात्रि से संघर्षविराम लागू करने पर सहमति जतायी थी।
इससे पहले पुतिन ने संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में कहा कि यह समझौता इदलिब में जारी लड़ाई को समाप्त करने में कारगर साबित होगा। वहीं एर्दोआन ने कहा कि तुर्की सीरिया की ओर से किये गए किसी भी हमले का पूरी ताकत से जवाब देने का अधिकार रखता है।
वहीं शुक्रवार मध्य रात्रि से संघर्ष विराम प्रभावी होने के बाद संघर्ष से तबाह क्षेत्र इदलिब में अपेक्षाकृत शांति है। ब्रिटेन स्थित निगरानी संस्था सीरियन ऑब्जर्वेटरी फॉर ह्यूमन राइट्स ने बताया कि रूस और सीरिया के हवाई हमले थमें हैं लेकिन इदलिब प्रांत से लगते अलेप्प्पो और हामा के कुछ क्षेत्रों में सीरियाई बलों ने गोले दागे। अलेप्पो और हामा के कुछ क्षेत्रों पर विद्रोहियों का कब्जा है।