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श्रीलंका, पुलवामा हमलों ने भारत को आतंकवाद से लड़ने के लिए और प्रतिबद्ध बनाया: स्वराज

विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने यहां किर्गिजस्तान की राजधानी में शंघाई सहयोग संगठन के विदेश मंत्रियों की परिषद की बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि भारत समग्र, सहयोगात्मक एवं स्थायी सुरक्षा के लिए एससीओ संरचना में सहयोग लगातार मजबूत करने को लेकर प्रतिबद्ध है।

Reported by: Bhasha
Published : May 22, 2019 14:34 IST
श्रीलंका, पुलवामा हमलों ने भारत को आतंकवाद से लड़ने के लिए और प्रतिबद्ध बनाया: स्वराज
Image Source : PTI श्रीलंका, पुलवामा हमलों ने भारत को आतंकवाद से लड़ने के लिए और प्रतिबद्ध बनाया: स्वराज

बिश्केक: भारत ने बुधवार को कहा कि श्रीलंका में सिलसिलेवार बम विस्फोट ऐसे समय पर हुए जब पुलवामा आतंकवादी हमले के जख्म भरे भी नहीं थे और इन घटनाओं ने भारत को आतंकवाद के खिलाफ दृढ़ता से लड़ने के लिए और अधिक प्रतिबद्ध बनाया है। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने यहां किर्गिजस्तान की राजधानी में शंघाई सहयोग संगठन के विदेश मंत्रियों की परिषद की बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि भारत समग्र, सहयोगात्मक एवं स्थायी सुरक्षा के लिए एससीओ संरचना में सहयोग लगातार मजबूत करने को लेकर प्रतिबद्ध है।

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इस बैठक में पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भी भाग लिया। स्वराज ने कहा, ‘‘हमारी संवेदनाएं हाल ही में भीषण आतंकवादी कृत्य के गवाह बने श्रीलंका के हमारे भाइयों एवं बहनों के साथ हैं। पुलवामा हमले से मिले हमारे जख्म अभी हरे ही थे और तभी पड़ोस से मिली भयावह खबर ने हमें आतंकवाद के खिलाफ दृढ़ता के लड़ने के लिए और अधिक प्रतिबद्ध बना दिया।’’

श्रीलंका में तीन गिरजाघरों और तीन लग्जरी होटलों पर 21 अप्रैल को नौ आत्मघाती हमलावरों के हमले में 250 से अधिक लोगों की मौत हो गई थी और 500 अन्य लोग घायल हो गए थे। इससे कुछ महीनों पहले ही जम्मू कश्मीर के पुलवामा में सीआरपीएफ के जवानों पर हुए पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के आत्मघाती हमले में 40 जवान शहीद हो गए थे।

स्वराज ने कहा कि भारत क्षेत्रीय आतंकवाद रोधी ढांचे (आरएटीएस) के कार्य को और प्रभावशाली बनाने के तरीकों संबंधी विचारों को अपनाने के लिए तैयार है। आरएटीएस विशेष रूप से सुरक्षा संबंधी मामलों को देखता है। उन्होंने कहा, ‘‘अशांत वैश्विक परिदृश्य के बावजूद, एससीओ सदस्य देश राजनीति, रक्षा एवं विकास समेत विभिन्न क्षेत्रों में आपसी हितकारी सहयोग बढ़ा रहे हैं।’’

उन्होंने कहा कि भारत आर्थिक एवं व्यापार सहयोग संबंधी एससीओ के प्रासंगिक दस्तावेजों पर काम तेज करने और एससीओ के सदस्य देशों की आर्थिक गतिविधियों के लिए उचित माहौल तैयार करने की दिशा में काम जारी रखने को लेकर प्रतिबद्ध है। 

स्वराज ने चीन एवं अमेरिका के मध्य जारी व्यापार युद्ध के बीच कहा, ‘‘भारत नियम आधारित, पारदर्शी, निष्पक्ष, खुली एवं समावेशी बहुपक्षीय व्यापार प्रणाली अपनाता है जो विश्व व्यापार संगठन के अनुरूप है। भारत एकतरफा और संरक्षणवाद का दृढ़ता से विरोध करता है।’’

भारत 2017 में इस समूह का पूर्ण सदस्य बना था और भारत के इसमें शामिल होने से क्षेत्रीय भू-राजनीति में समूह का महत्व बढ़ गया है। भारत के साथ ही पाकिस्तान को भी 2017 में एससीओ की सदस्यता मिली थी।

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