इस्लामाबाद: पाकिस्तान ने शुक्रवार को कहा कि वह अमेरिका को अपना दोस्त मानता है और अफगानिस्तान में शांति और समृद्धि के साझा उद्देश्य को हासिल करने के लिए उसके साथ व्यापक स्तर पर संबंधों को मजबूत करना चाहता है। पाकिस्तान का यह ताजा बयान प्रधानमंत्री इमरान खान के उस बयान का स्पष्टीकरण माना जा रहा है, जिसमें उन्होंने कहा था कि अमेरिका पाकिस्तान को केवल अफगानिस्तान में उसके द्वारा की गई गड़बड़ियों को दूर करने के लिए ही उपयोगी मानता है।
पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता जाहिद हफीज चौधरी ने कहा कि प्रधानमंत्री इमरान खान की टिप्पणी को लेकर मीडिया की ओर से किए जा रहे सवालों के जवाब में यह बात कही। चौधरी ने कहा, 'अफगान शांति प्रक्रिया सहित कई प्रमुख मुद्दों पर हमारे साझा विचार और हित हैं। दोनों देशों का मानना है कि अफगानिस्तान में संघर्ष का कोई सैन्य समाधान नहीं है और अमेरिका तथा पाकिस्तान दोनों ही देश अफगानिस्तान में शांति देखना चाहते हैं।’
इमरान खान ने बुधवार को विदेशी पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा था, ‘पाकिस्तान को केवल इस संदर्भ में ही उपयोगी माना जाता है कि वह किसी तरह इस गड़बड़ी को सुलझाने में काम आ सकता है। अमेरिका ने पिछले 20 वर्षों के दौरान सैन्य तरीके से अफगानिस्तान की समस्या को सुलझाने की कोशिश की है। वास्तव में सैन्य तरीके से इसका कभी समाधान नहीं हो सकता।’
गौरतलब है कि अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने 31 अगस्त तक अफगानिस्तान से सभी अमेरिकी और नाटो (उत्तर अटलांटिक संधि संगठन) के सैनिकों को वापस बुलाने की घोषणा की है। इसके बाद से ही अफगानिस्तान में निरंतर तालिबान का प्रभाव बढ़ता जा रहा है और हिंसक घटनाओं में भारी इजाफा हो रहा है।