बीजिंग: तय परंपरा से हटते हुए चीन ने रविवार को अपने राष्ट्रीय रक्षा बजट की घोषणा नहीं की। चीन आमतौर पर अपनी सालाना संसद बैठक से पहले अपने रक्षा बजट की जानकारी देता रहा है। हर साल नेशनल पीपल्स कांग्रेस (NPC) का प्रवक्ता प्रतिशत के लिहाज से देश के रक्षा बजट की जानकारी देता है। लेकिन इस बार NPC के प्रवक्ता चांग येसुई ने यह नहीं बताया कि रक्षा बजट में कितने प्रतिशत की बढोतरी हुई है। इसके साथ ही उन्होंने चीन के सैन्य खर्च में लगातार बढ़ोतरी का बचाव करते हुए कहा कि यह चीन की वृद्धि के अनुसार ही है।
चांग ने कहा कि चीन ‘शांतिपूर्ण विकास की राह पर आगे बढ़ता रहेगा।’ उन्होंने कहा, ‘रक्षात्मक प्रवृत्ति वाली रक्षा नीति के साथ चीन के विकास से किसी अन्य देश को कोई खतरा नहीं होगा।’ चीन ने पिछले साल अपने रक्षा बजट को बढ़ाकर 150.5 अरब डॉलर कर दिया था जो कि भारत के लगभग 52.5 अरब डॉलर के ताजा रक्षा बजट का 3 गुना है। आपको बता दें कि चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी दुनिया की सबसे बड़ी सेना है। चीन पिछले कई सालों से लगातार अपने रक्षा बजट में इजाफा करता आया है।
चीन की सेना ने हाल के दिनों में आधुनिकीकरण पर काफी जोर दिया है। पिछले कुछ महीनों में चीन ने कई तरह के हथियार और लड़ाकू विमान अपने बेड़े में शामिल किए हैं। इस देश के रक्षा बजट पर भारत की भी खास नजर रहती है क्योंकि फिलहाल ड्रैगन से नई दिल्ली के रिश्तों में तल्खी आई है। डोकलाम गतिरोध के बाद से ही भारत और चीन के संबंधों में खटास जारी है।