नई दिल्ली। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने पाकिस्तान सेना को लेकर बड़ा बयान दिया है। इमरान खान ने कहा है कि उनके समय में अगर कारगिल युद्ध हुआ होता और पाक सेना ने उनको बताए बिना कारगिल में घुसपैठ की होती तो वे आर्मी चीफ का त्यागपत्र मांग लेते। पाकिस्तान के एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में इमरान खान ने यह बयान दिया है। इमरान खान ने यहां तक कह दिया कि पाकिस्तान की खूफिया एजेंसी आईएसआई का कोई भी चीफ उनको इस्तीफा देने के लिए नहीं कह सकता और अगर ऐसा कहेगा तो वह खुद उसका इस्तीफा मांग लेंगे।
इमरान खान ने पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ पर आरोप लगाते हुए कहा कि नवाज के कार्यकाल में सेना और सरकार के रिश्तों में खटास आ गई थी क्योंकि नवाज शरीफ सेना पर कंट्रोल करना चाहते थे। इमरान खान ने कहा कि उनकी सरकार के समय सेना और सरकार के बीच रिश्ते बहुत अच्छे हैं।
आईएसआई के पूर्व चीफ जहीरुल इस्लाम के एक दावे, जिसमें जहिरुल ने कहा था कि उन्होंने नवाज शरीफ से इस्तीफा मांग लिया था, का जिक्र करते हुए इमरान खान ने कहा क्या एक प्रधानमंत्री को किसी आईएसआई चीफ में ऐसा कहने की हिम्मत है, इमरान ने कहा कि अगर कोई उनसे ऐसा कहे तो वह खुद उसका इस्तीफा मांग लें। इमरान ने कहा कि वे लोकतांत्रिक तरीके से चुने गए प्रधानमंत्री हैं और किसमें हिम्मत है कि वे उन्हें हटाएं।
इमरान खान अपने इस बयान में जहां एक तरफ कह रहे हैं कि उनकी सरकार और सेना के बीच रिश्ते काफी अच्छे हैं तो दूसरी तरफ यह चुनौती भी दे रहे हैं कि वे एक लोकतांत्रिक तरीके से चुने गए प्रधानमंत्री हैं और कोई भी उन्हें हटा नहीं सकता। पाकिस्तान का इतिहास रहा है कि वहां की सेना के जनरल सरकारों का तख्तापलट करते रहे हैं, ऐसे में एक तरह से इमरान खान सीधे सेना को ही यह चुनौती देते हुए नजर आ रहे हैं।
दरअसल इमरान खान के कार्यकाल में पाकिस्तान दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हो गया है। उसकी आर्थिक हालत तो पहले ही खराब है, साथ में वैश्विक मंचों पर भी दुनिया के ज्यादातर देश उसका साथ नहीं दे रहे हैं। आतंकवाद को लेकर पाकिस्तान पूरी दुनिया के निशाने पर आ चुका है और FATF की ब्लैक लिस्ट में आने से बचने के लिए तमाम कोशिशें कर रहा है। पाकिस्तान की इस दुर्दशा के लिए वहां की जनता इमरान खान को दोषी मान रही है, और शायद जनता के गुस्से से बचने के लिए इमरान खान खुद सेना को चुनौती दे रहे हैं कि उनको हटाकर दिखाए। अगर सेना इमरान खान का तख्तापलट करती है तो उसके पास यह कहने के लिए बात हो जाएगी कि वह काम तो अच्छा कर रहा था लेकिन सेना ने उसे हटा दिया।
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