लाहौर: पाकिस्तान की न्यायपालिका और सैन्य प्रतिष्ठानों पर प्रहार करते हुए पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ से शनिवार को कहा कि कुछ लोगों को देश की 20 करोड़ जनता पर शासन करने की अनुमति नहीं दी जा सकती। मुरीदके में 67 वर्षीय शरीफ ने लोगों से कहा कि आंदोलन में उनका साथ दें क्योंकि वह पाकिस्तान की तकदीर बदलने वाले हैं। शरीफ ने सेना और न्यायपालिका का हवाला देते हुए कहा, ‘क्या आप आंदोलन में नवाज शरीफ का साथ देंगे?’ इस पर भीड़ ने हां कहते हुए उनका हौसला बढ़ाया।
शरीफ ने कहा, ‘समय आ गया है कि निर्णय किया जाए कि देश पर शासन कौन करेगा? कुछ मुट्ठी भर लोग या 20 करोड़ जनता। पाकिस्तान कुछ लोगों की जागीर नहीं है।’ सुप्रीम कोर्ट की 5 सदस्यीय पीठ ने पिछले महीने शरीफ को भ्रष्टाचार के आरोप में अयोग्य करार दिया था और फैसला दिया था कि पनामा पेपर्स कांड में उनके और उनके बच्चों पर मामला दर्ज किया जाए जिसके बाद प्रधानमंत्री पद छोड़ने के लिए बाध्य हुए थे। यह तीसरा मौका है जब नवाज शरीफ को अपने प्रधानमंत्री कार्यकाल को बीच में ही छोड़ना पड़ा है। उन्होंने अपने समर्थकों से कहा, ‘पद से हटाने का फैसला आपका नहीं था। अगर नवाज शरीफ भ्रष्टाचार में शामिल था तो आप मुझे मेरे पद से हटाते।’
शरीफ उन्हें पद छोड़ने के लिए बाध्य करने वाले सुप्रीम कोर्ट के 5 न्यायाधीशों और इसमें भूमिका निभाने वाले सैन्य अधिकारियों को निशाना बना रहे हैं। समर्थकों की जोरदार नारेबाजी के बीच उन्होंने कहा, ‘कुछ लोग पाकिस्तान की प्रगति के खिलाफ हैं इसलिए उन्होंने आपके निर्वाचित प्रधानमंत्री को बाहर कर दिया। इस निर्णय के कारण पाकिस्तान की दुनिया भर में किरकिरी हो रही है। दुनिया के लोग और पाकिस्तानी भी इस निर्णय को खारिज कर रहे हैं।’ शरीफ ने दावा किया कि अगर वह 3 वर्ष और सत्ता में रहते तो देश में बेरोजगारी से निपट लेते।