इस्लामाबाद। पाकिस्तान में कोरोना वायरस के मामले शुक्रवार को 2,400 का आंकड़ा पार कर गए। वहीं, अधिकारी इस संक्रामक रोग को फैलने से रोकने के लिए एक साथ मिलकर नमाज पढ़ने वाले लोगों की संख्या पांच तक सीमित करने की सरकार की अधिसूचना के बावजूद बड़ी संख्या में लोगों को एकत्रित करने से रोकने के लिए जूझ रहे हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि शुक्रवार को पाकिस्तान में कोरोना वायरस के मामले बढ़कर 2,450 हो गए।
देश में इस वैश्विक महामारी से 35 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 126 लोग अब तक स्वस्थ हो गए हैं। देश के सबसे बड़े पंजाब प्रांत में 920 मामले, सिंध में 783, खैबर पख्तूनख्वा में 311, बलूचिस्तान में 169, गिलगित-बाल्टिस्तान में 190, इस्लामाबाद में 68 और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नौ मामले सामने आए हैं। मुल्क में एक हफ्ते से अधिक समय के आंशिक लॉकडाउन (बंद) के बावजूद मामलों की संख्या रोज बढ़ रही है।
सरकार ने वायरस पर लगाम लगाने के लिए शुक्रवार की नमाज तथा अन्य धार्मिक सभा में भाग लेने की संख्या तीन से पांच तक सीमित करने की अधिसूचना जारी की थी। प्रांतीय और संघीय सरकारें भी लोगों को मस्जिदों से दूर रहने के लिए राजी करने की कोशिश कर रही है लेकिन उन्हें इसमें ज्यादा कामयाबी नहीं मिल रही। सिंध प्रांतीय सरकार ने लोगों को शुक्रवार की नमाज में भाग लेने से रोकने के लिए दोपहर 12 बजे से तीन बजे तक पूरी तरह बंद की घोषणा की है। सिंध के स्थानीय सरकार मंत्री नासिर शाह ने कहा, ‘‘हालांकि मस्जिद खुली रहेंगी जहां केवल तीन से चार लोग जुमे की नमाज पढ़ सकेंगे।’’
इस बीच, पाकिस्तान स्वस्थ हो चुके मरीजों के प्लाज्मा के जरिए कोविड-19 के मरीजों का इलाज करने की कोशिश कर रहा है और पिछले महीने स्वस्थ हुए एक व्यक्ति ने कराची में प्लाज्मा दान किया है। इससे पहले राष्ट्रीय रक्त रोग संस्थान के प्रख्यात रुधिर रोग विशेषज्ञ ताहिर शम्सी ने कहा कि इस तकनीक का इस्तेमाल मरीजों के इलाज में किया जा सकता है और चीन ने भी प्रभावी तौर पर इसका इस्तेमाल किया है। वहीं, रेडियो पाकिस्तान ने खबर दी कि विश्व बैंक ने 160 अरब डॉलर की आपात मदद को मंजूरी दी है जिनमें से 20 करोड़ डॉलर की मदद पाकिस्तान को दी गई है।