बीजिंग। चीन को इस साल भयंकर बाढ़ का सामना करना पड़ रहा है। चीन के मध्य हेनान प्रांत इतनी बारिश हुई है जितनी 1000 वर्षों में कभी नहीं हुई थी। सिर्फ हेनान ही नहीं बल्कि चीन के दक्षिण ग्वांगदोंग प्रांत में भी भारी बरसात की वजह से बाढ़ आई है और पिछले हफ्ते से एक निर्माणाधीन स्थल की बाढ़ग्रस्त सुरंग में फंसे 13 मजदूरों की मौत हो गयी है। सरकारी मीडिया ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
झुहाई शहर में शिन्गे एक्सप्रेसवे की शिजिंगशान सुरंग के निर्माणाधीन हिस्से में कुल 14 मजदूर उस समय फंस गए थे जब इस स्थान पर 15 जुलाई को बाढ़ आयी थी। ‘शिन्हुआ’ समाचार एजेंसी ने बृहस्पतिवार को बचाव मुख्यालय के हवाले से बताया कि बचे हुए मजदूर को निकालने के लिए राहत प्रयास चल रहे हैं। घटनास्थल पर 2,400 से अधिक बचाव कर्मचारियों और 200 से अधिक बचाव वाहनों को भेजा गया है। खबर में बताया गया है कि सुरंग के तंग होने और जल-विज्ञान, भू विज्ञान और मौसम संबंधी परिस्थितियों के जटिल होने से बचाव कार्य मुश्किल हो गया है।
चीन की सड़कें पानी से लबालब भर चुकी हैं और कई सबवे ऐसे हैं जहां पर गाड़ियां तैर रही हैं। होटलों तथा सार्वजनिक स्थानों पर फंसे लोगों को निकालने के लिए सेना को तैनात करना पड़ा है। एक लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। भारी बारिश के कारण उत्पन्न हुई स्थिति से 1.26 करोड़ की आबादी वाली प्रांतीय राजधानी झेंगझोऊ में सार्वजनिक स्थानों और ‘सबवे टनल’ में पानी भर गया। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि बारिश का ऐसा कहर दुर्लभ ही देखने को मिलता है।
सरकारी समाचार एजेंसी ‘शिन्हुआ’ की खबर के अनुसार, शी ने पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) की तैनाती का आदेश दिया और कहा कि सभी स्तर के अधिकारी लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करें क्योंकि झेंगझोऊ शहर में बाढ़ की स्थिति बिगड़ती जा रही है। खबर के अनुसार, ‘पीपुल्स लिबरेशन आर्मी सेंट्रल थिएटर कमान’ ने प्रभावित हेनान प्रांत के लिए तत्काल सैनिकों को भेज दिया है, जहां एक बांध के भारी बारिश के कारण क्षतिग्रस्त होने से कभी भी गिरने की आशंका है।
पीएलए ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘वायबो’ पर अपने आधिकारिक अकाउंट पर कहा कि हेनान प्रांत के यिचुआन प्रांत में बांध में 20 मीटर लंबी दरार दिखाई दी है और वह कभी भी गिर सकता है। सोशल मीडिया पर साझा की गई वीडियो में ‘सबवे’ में फंसे यात्री डरे हुए दिख रहे हैं, क्योंकि पानी उनकी गरदन तक पहुंच गया है। उन्हें वहां से निकाला गया या नहीं इसका पता नहीं चल पाया है। आधिकारिक मीडिया की ओर से भी कुछ वीडियो साझा किए गए जिसमें बचाव दल ‘सबवे’ में फंसे लोगों की मदद करते दिख रहे हैं। कई गाड़ियों के बह जाने और लोगों के बारिश के कारण सड़क पर बने गड्ढों में डूबने के भी वीडियो सामने आए हैं। बारिश का पानी शहर की ‘लाइन फाइव’ की सबवे सुरंग में चला गया, जिससे एक ट्रेन में कई यात्री फंस गए।
सरकारी समाचार एजेंसी ‘शिन्हुआ’ की एक खबर के अनुसार, हेनान के प्रांतीय मौसम विज्ञान विभाग ने बताया कि प्रांतीय राजधानी झेंगझोऊ में मंगलवार को 24 घंटे में औसतन 457.5 मिमी बारिश हुई। मौसम संबंधी रिकॉर्ड रखे जाने के बाद से यह एक दिन में अब तक हुई सर्वाधिक वर्षा है। हांगकांग के ‘साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट’ ने अपनी एक खबर में बताया कि बाढ़ संबंधी हादसों में 13 लोगों की मौत हो गई है और एक लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है।
खबर के अनुसार, कई जगह पानी भर जाने के कारण शहर में यातायात ठप पड़ गया। 80 से अधिक बसों की सेवाएं निलंबित करनी पड़ी, 100 से अधिक के मार्ग बदले गए और ‘सबवे’ सेवांए भी अस्थायी रूप से बंद कर दी गई हैं। खबर में बताया गया कि पुलिस अधिकारी, दमकल कर्मी और अन्य स्थानीय उप जिला कर्मी मौके पर बचाव कार्य में जुटे हैं। ‘सबवे’ में पानी कम हो रहा है और यात्री फिलहाल सुरक्षित हैं। झेंग्झोऊदोंग रेलवे स्टेशन पर 160 से अधिक ट्रेनें रोकी गईं। झेंगझोऊ के हवाईअड्डे पर आने-जाने वाली 260 उड़ानें रद्द की गई हैं। वहीं, स्थानीय रेलवे अधिकरियों ने भी कुछ ट्रेनों को रोक दिया है या उनके समय में परिवर्तन किया है। आंधी तूफान से प्रभावित शहर में कुछ स्थानों पर बिजली और पेयजल सेवाएं भी बंद हैं।
हेनान प्रांतीय और झेंगझोऊ नगरपालिका मौसम विज्ञान ब्यूरो ने मौसम संबंधी आपदाओं के लिए आपातकालीन प्रतिक्रिया का स्तर बढ़ाकर एक कर दिया है। हेनान में बुधवार रात तक भारी बारिश होती रहने का अनुमान है। ‘पोस्ट’ की खबर के अनुसार, मौसम वैज्ञानिकों ने कहा कि 1000 वर्षों में ऐसी भीषण बारिश हुई है। इसके कारण अस्पतालों में भी बिजली नहीं है। ‘शिन्हुआ’ ने राष्ट्रपति शी के हवाले से कहा कि बारिश के कारण बाढ़ की स्थिति से निपटने में परेशानी आ रही है। झेंगझोऊ और अन्य शहरों में भारी मात्रा में पानी भर गया है। कुछ स्थानों पर पानी खतरे के निशान से ऊपर है और कुछ बांध भी क्षतिग्रस्त हो गए हैं। कुछ स्थानों पर रेल सेवाएं बंद की गई हैं और कुछ उड़ानें भी रद्द कर दी गई हैं।