बीजिंग: चीन के एक जहाज ने दुनियाभर के देशों की टेंशन बढ़ा दी है। 'मैजिक आइलैंड मेकर' कहे जाने वाले इस जहाज से समुद्र में कृत्रिम द्वीपों का निर्माण किया जा सकता है। अब इस जहाज के सामने आने के बाद चीन के पड़ोसी देशों को इस बात की चिंता सता रही है कि ड्रैगन कहीं इसे दक्षिणी चीन सागर में तैनात न कर दे। बताया जा रहा है कि यह एशिया का सबसे बड़ा ड्रैजिंग पोत है और कम समय में कृत्रिम द्वीपों का निर्माण करने में सक्षम है।
'चियान कुन हाओ' नाम के इस जहाज का इस्तेमाल लैंड रिक्लेमेशन के लिए किया जाता है। इस जहाज की लंबाई 140 मीटर है और यह समुद्र में 35 मीटर नीचे से एक घंटे में 6,000 क्युबिक मीटर बालू या रेत को आसानी से निकाल सकती है। इसी बालू या रेत से कृत्रिम द्वीपों को तैयार किया जाता है। वहीं चीनी मीडिया का कहना है कि चीन अपने तटीय क्षेत्रों में कई लैंड रिक्लेमेशन प्रॉजेक्ट चला रहा है, ऐसे में इस जहाज की मौजूदगी किसी के लिए भी चिंता की बात नहीं होनी चाहिए, लेकिन ड्रैगन के पुराने विस्तारवादी और आक्रामक रवैये को देखते हुए दुनिया के कई देशों की चिंता बढ़ गई है।
चीन के पड़ोसी देशों को लग रहा है कि चीन इस शिप का इस्तेमाल दक्षिण चीन सागर में कृत्रिम द्वीप बनाने में कर सकता है। इस आशंका को इसलिए भी बल मिलता है क्योंकि चीन ने पहले ही इस ड्रैजर का इस्तेमाल 7 कृत्रिम द्वीपों के निर्माण में किया है। अब अंतरराष्ट्रीय जलमार्ग में बने इन द्वीपों में से कुछ का इस्तेमाल यह देश मिसाइल बेस, हवाई अड्डों और रेडार सिस्टम्स के लिए कर रहा है। वहीं, चीन का क्षेत्रीय संप्रभुता के मसले पर वियतनाम, फिलीपींस, मलयेशिया, ब्रुनेई और ताइवान से विवाद चल रहा है।