Highlights
- भारत ने कहा कि तमाम उतार-चढ़ाव के बावजूद भारत दुनिया की 5वीं बड़ी अर्थ व्यवस्था
- आजादी के 100 वर्ष पूरे होने तक विकसित देशों की श्रेणी में खड़ा दिखेगा हिंदुस्तान
- UNGA में भारत ने दुनिया के सामने दिखाई भारत की उदारवादी सोच
India at UNGA: संयुक्त राष्ट्र सभा में भारत ने पूरी दुनिया को अपनी ताकत का एहसास करा दिया है। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने वर्ष 2047 तक भारत को विकसित देशों की श्रेणी में खड़ा करने का ऐलान किया। एस जयशंकर ने शनिवार को कहा कि भारत वर्ष 2047 तक यानी आजादी के 100वें वर्ष तक खुद को एक विकसित देश के रूप में देखता है। साथ ही आज का भारत अपने सबसे सुदूर गांव को डिजिटल बनाने और चांद पर उतरने के सपने देखता है। वह यहां एक विशेष ‘इंडिया@75' भारत-संयुक्त राष्ट्र की सक्रिय भागीदारी का प्रदर्शन ’’ विषयक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।
उतार-चढ़ावों के बीच भारत बना दुनिया की 5वीं बड़ी अर्थ व्यवस्था
जयशंकर ने कहा कि 18वीं शताब्दी से अब तक भारत ने बहुत उतार-चढ़ाव का दौर देखा है, लेकिन वह अपने विकास पथ पर चलता रहा। 18वीं शताब्दी में भारत का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) पूरे विश्व की जीडीपी का करीब एक चौथायी यानी लगभग 25 प्रतिशत हुआ करता था, लेकिन 20वीं सदी के मध्य तक उपनिवेशवाद के कारण हम विश्व के सबसे गरीब देशों में शुमार हो गये। वह हमारी सरकार ही थी कि हम संयुक्त राष्ट्र के संस्थापक सदस्य देश बने। इसका हमें गर्व है कि आजादी के 75 वर्ष पूरे होने पर भारत फिर दुनिया के सामने मजबूती से खड़ा हुआ है। अब आप के सामने गर्व के साथ और दुनिया की पांचवीं अर्थव्यवस्था के रूप में हम खड़े हैं।
डिजिटल पथ पर दौड़ रहा देश
विदेश मंत्री ने कहा कि आज भारत की रफ्तार डिजिटल पथ पर कई गुना तेज हो गई है। भारत सबसे मजबूत, उत्साही और सर्वाधिक तर्कशील लोकतंत्र के रूप में उभर रहा है। हाल के दिनों में डिजिटल तकनीक के माध्यम से भारत ने अपने खाद्य-सुरक्षा जाल को 80 करोड़ भारतीयों तक सफलतापूर्वक पहुंचाया है और 300 अरब अमरीकी डालर से अधिक का लाभ डिजिटल रूप से वितरित किए गए हैं। भारत में 40 करोड़ लोगों को नियमित रूप से खाद्य पदार्थ दिया जा रहा है। उन्होंने कहा, ‘‘हमने दो अरब लोगों को कोरोना वायरस का टीका लगाया और इसका रहस्य निश्चित रूप से डिजिटल है।
विकसित देश बनने की राह ऐसे हो रही आसान
- दुनिया की पांचवीं बड़ी अर्थव्यवस्था
- टेक्नॉलोजी में विश्व से कदमताल
- 70 हजार से अधिक स्टार्टअप और 100 नए यूनिकॉर्न
- मजबूत मिलिट्री पॉवर
- आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ रहे कदम
- इंफ्रास्ट्रक्चर का तेजी से हो रहा विकास
- सड़क, चिकित्सा और शिक्षा के क्षेत्र में हो रहे क्रांतिकारी बदलाव
- डिजिटल इंडिया से बढ़ रही देश की ताकत
- 5 जी देगा देश की तरक्की को नया आयाम
- निर्यात क्षमता में लगातार हो रही वृद्धि
- दुनिया में भारत का प्रभावशाली नेतृत्व
- स्पष्ट और स्वतंत्र विदेश नीति
- दुनिया का सबसे बड़ा और ईमानदार लोकतंत्र
भारत ने की दूसरे देशों की भी मदद
विदेश मंत्री ने कहा कि भारत ने फिलहाल 51 देशों में 66 विकास परियोजनाओं का विस्तार किया है। जयशंकर ने कहा कि भारत ने हाल के वर्षों में अफगानिस्तान, म्यांमा, श्रीलंका, यमन और कई अन्य देशों को अनुदान देने समेत खाद्यान्न की आपूर्ति करके अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। हम ऐसे देश हैं जो मुश्किल में फंसे देशों को भी परेशानी से निकालकर साथ लेकर चलना चाहते हैं। हमारा विश्वास है कि भारत का विकास बाकी दुनिया से जुड़ा हुआ है, जिसे अलग नहीं किया जा सकता। इस कार्यक्रम में संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77वें सत्र के अध्यक्ष साबा कोरोसी, संयुक्त राष्ट्र की उप महासचिव अमीना मोहम्मद, मालदीव के विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद और यूएनडीपी प्रशासक अचिम स्टेनर सहित संयुक्त राष्ट्र के गणमान्य व्यक्ति शामिल हुए। जयशंकर ने कहा कि भारत का मानना है कि विकास सार्वजनिक हित है और ‘ओपन सोर्सिंग’ आगे बढ़ने की सबसे अच्छी राह है।