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इंसानों की बनाई इस मधुमक्खी ने ली सैकड़ों की जान, जानें कैसे आई दुनिया में

इस खतरनाक मधुमक्खी के डंक ने कम से कम 1,000 लोगों की जान ली है। इसके अलावा इसके काटने से घोड़े समेत कई जानवर भी मौत के मुंह में जा चुके हैं...

Written by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: September 05, 2017 14:35 IST
Africanized bees- India TV Hindi
Africanized bees

ब्राजीलिया: हममें से कई लोगों को मधुमक्खी ने काटा होगा, और इसके काटने के असर से हमें थोड़ी-बहुत तकलीफ भी हुई होगी। लेकिन क्या आपको पता है कि एक मधुमक्खी ऐसी भी है जिसके बारे में कहा जाता है कि इसके डंक ने कम से कम 1,000 लोगों की जान ले ली है। यही नहीं, इस मधुमक्खी के डंक से कई घोड़े और अन्य जानवर भी मौत के मुंह में समा चुके हैं। हम बात कर रहे हैं अफ्रीकनाइज्ड मधुमक्खी की।

प्रकृति नहीं, इंसान जिम्मेदार है इस मधुमक्खी के लिए

खास बात यह है कि इस मधुमक्खी को प्रकृति नहीं बल्कि इंसान इस दुनिया में लेकर आए थे। अफ्रीकन मधुमक्खी और कुछ यूरोपियन मधुमक्खियों की क्रॉसब्रीडिंग से यह मधुमक्खी अस्तित्व में आई थी। इसके पीछे सोच थी कि इन दो मधुमक्खियों के मिलन से मधुमक्खियों की जो नई प्रजाति पैदा होगी, वह ज्यादा शहद का उत्पादन करने में मदद करेगी। इस तरह से इंसानों ने दुनिया में मधुमक्खी की एक नई प्रजाति विकसित की, जो बाद में चलकर उन्हीं के जी का जंजाल बन गई।

1957 में हुआ वह हादसा
इन मधुमक्खियों को ब्राजील भेजा गया। शहद का उत्पादन बढ़ा या नहीं इसके बारे में तो नहीं पता, लेकिन दुर्घटनावश मधुमक्खियों का झुंड 1957 में आजाद हो गया। ये मधुमक्खियां उसके बाद पूरे दक्षिणी अमेरीकी और उत्तरी अमेरिकी महाद्वीप में फैल गईं। ये नई मधुमक्खियां काफी आक्रामक थीं और जरा सा भी छेड़ने पर जोरदार हमला करती थीं। कहा जाता है कि अफ्रीकनाइज्ड मधुमक्खियां एक व्यक्ति का 400 मीटर तक पीछा कर सकती हैं। इनके पास यूरोपियन मधुमक्खियों के मुकाबले 10 गुना ज्यादा डंक होते हैं।

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