सिडनी: कैंसर तथा ऑटो इम्यून बीमारियों के इलाज की दिशा में शोधकर्ताओं ने एक बड़ी कामयाबी हासिल की है। एक भारतवंशी शोधकर्ता सहित शोधकर्ताओं के एक दल ने शरीर के लिए बेकार कोशिकाओं को खत्म करने की नई विधि खोजी है। 'प्रोग्राम्ड सेल डेथ' यानी 'एपोपटॉसिस' एक स्वाभाविक प्रक्रिया है, जो अवांछित कोशिकाओं को शरीर से बाहर करने का काम करती है। एपोपटॉसिस न होने के कारण कैंसर कोशिकाओं का विकास होता है या प्रतिरक्षा कोशिकाएं शरीर की स्वस्थ कोशिकाओं पर हमले करती हैं।
एपोपटॉसिस की प्रक्रिया में 'बाक' नामक प्रोटीन महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। स्वस्थ कोशिकाओं में बाक प्रोटीन निष्क्रिय अवस्था में रहता है, लेकिन जैसे ही कोशिका को मरने का संकेत मिलता है, बाक प्रोटीन एक किलर प्रोटीन में तब्दील होकर कोशिका को खत्म कर देता है। अध्ययन के दौरान, विक्टोरिया के वाल्टर एंड एलिजा हॉल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल रिसर्च की शोधकर्ता श्वेता अय्यर तथा उनके साथियों ने कोशिका को मारने के लिए बाक प्रोटीन को सीधे संकेत देने का एक खास तरीका खोज निकाला है।
शोधकर्ताओं ने एक ऐसे एंटीबॉडी की खोज की है, जो बाक प्रोटीन से संबंधित है और उसे सक्रिय करने का काम करता है। ऑस्ट्रेलिया के वाल्टर एंड एलिजा हॉल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल रिसर्च रूथ क्लूक ने कहा, "हम इस बात को लेकर बेहद रोमांचित हैं कि हमने बाक को सक्रिय करने के लिए पूरी तरह से एक नया तरीका खोज निकाला है।" यह अध्ययन पत्रिका 'नेचर कम्युनिकेशंस' में प्रकाशित हुआ है।