संयुक्त राष्ट्र: इस्राइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने इस वर्ष देश में सैकड़ों विश्व नेताओं की मेजबानी की लेकिन उनका मानना है कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और नेतन्याहू के भारतीय समकक्ष नरेंद्र मोदी की यात्रा सही मायनों में ऐतिहासिक थी। नेतन्याहू ने आज यहां संयुक्त राष्ट्र महासभा में अपने संबोधन में यह बात कही। मोदी के संबंध में नेतन्याहू ने कहा कि वे इस्राइल, भारत और पूरी मानवता के लिए अंतहीन संभावनाओं की कल्पना करते हैं। नेतन्याहू ने कहा, मैं पिछले साल यहां इस मंच पर खड़ा था और मैंने इस्राइल को लेकर दुनियाभर में आए इस गहरे बदलाव के बारे में बात की थी। अब देखिए एक साल में क्या हुआ है, कितनी बार हुआ है। सैकड़ों राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, विदेश मंत्री और अन्य नेता इस्राइल आए, इनमें से कई पहली बार आए। (ईरान के साथ दोबारा परमाणु समझौता करना चाहता है अमेरिका?)
उन्होंने कहा, इन यात्राओं में से दो सच में ऐतिहासिक थीं। मई में राष्ट्रपति ट्रंप पहले अमेरिकी राष्ट्रपति थे जिन्होंने अपनी पहली विदेश यात्रा में इस्राइल को शामिल किया। राष्ट्रपति ट्रंप पश्चिमी दीवार पर खड़े हुए जहां यहूदी लोग या यहूदी लोगों के मंदिर करीब 1,000 वर्ष से हैं। नेतन्याहू ने कहा कि जब राष्ट्रपति ने उन प्राचीन पत्थरों को छूआ तो उन्होंने हमेशा के लिए हमारे दिलों को छू लिया। इस्राइली प्रधानमंत्री ने कहा कि जुलाई में नरेंद्र मोदी इस्राइल की यात्रा करने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री बने। उन्होंने विश्व नेताओं से भारतीय प्रधानमंत्री के साथ अपनी मुलाकात भी साझा की।
नेतन्याहू ने कहा, आपने शायद तस्वीरें देखी होंगी। हम पोदेरा में बीच पर थे। हमने समुद्र के पानी से नमक अलग करने के पोर्टेबल यंत्र से लैस जीप की सवारी की जिसकी इस्राइली उद्यमियों ने खोज की। हमने भूमध्य सागर में उतरने से पहले अपने जूते निकाले और समुद्र का पानी पिया जिसे कुछ मिनट पहले ही शुद्ध किया गया। उन्होंने कहा कि पिछले साल इस्राइल ने कई विश्व नेताओं की मेजबानी की और छह अलग-अलग महाद्वीपों की यात्रा की थी।