कोलकाता: पश्चिम बंगाल विधानसभा में भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर चुनाव जीतने के कुछ दिन बाद ही तृणमूल कांग्रेस में वापसी करने वाले मुकुल रॉय ने शुक्रवार को नया विवाद उत्पन्न करते हुए कहा कि उनकी सीट पर होने वाले विधानसभा चुनाव में भगवा पार्टी की जीत होगी। एक हफ्ते में दूसरी बार रॉय ने ऐसा कहा है। हालांकि, उन्होंने कहा कि वर्ष 2023 में होने वाले त्रिपुरा विधानसभा चुनाव में तृणमूल कांग्रेस बेहतर प्रदर्शन करेगी। तृणमूल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तपस रॉय ने मुकुल रॉय के बयान पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया जबकि बीजेपी ने कहा कि जनता ऐसे बयानों पर फैसला करेगी।
मुकुल रॉय ने 6 अगस्त को नदिया जिले के कृष्णानगर में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि बीजेपी राज्य में होने वाले उपचुनाव में जीत दर्ज करेगी। हालांकि, जैसे ही उन्हें गलती का एहसास हुआ, उन्होंने भूल सुधार करते हुए कहा कि उनका अभिप्राय तृणमूल कांग्रेस से था। वरिष्ठ नेता रॉय वर्ष 2017 में ममता बनर्जी नीत तृणमूल कांग्रेस छोड़ बीजेपी में शामिल हो गए थे लेकिन 2 मई को पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के करीब एक महीने बाद वह वापस तृणमूल में शामिल हो गए। हालांकि, आधिकारिक रूप से वह अब भी कृष्णानगर उत्तर सीट से बीजेपी के विधायक हैं और उन्हें विधानसभा की लोकलेखा समिति का अध्यक्ष बनाया गया है।
विधानसभा परिसर में लोकलेखा समिति की बैठक में हिस्सा लेने के बाद शुक्रवार को रॉय ने कहा, ‘अगर कृष्णानगर उत्तर सीट पर उपचुनाव होते हैं तो बीजेपी जीतेगी।’ जब उनसे सवाल किया कि अगर तृणमूल कांग्रेस वहां से नहीं जीतती तो उन्होंने कहा कि इसका फैसला वहां की जनता करेगी। मुकुल रॉय से जब पूछा गया कि वह किस पार्टी के विधायक हैं तो उन्होंने कहा,‘मैं बीजेपी का विधायक हूं। अगर पार्टी कहती है तो वह त्रिपुरा जाकर तृणमूल कांग्रेस के लिए कार्य करने को तैयार हैं। पार्टी जो भी कहेगी मैं करूंगा। बीजेपी त्रिपुरा में अच्छा नहीं कर रही है। हमारी पार्टी अगले चुनाव में बेहतर करेगी।’
मुकुल रॉय के बयान के बारे में पूछे जाने पर पश्चिम बंगाल विधानसभा में तृणमूल कांग्रेस के उपमुख्य सचेतक तपस रॉय ने कहा, ‘यह उचित होगा कि आप मुकुल रॉय से पूछें कि वह क्या कहना चाहते हैं। मैं चूंकि उस बातचीत के वक्त उपस्थित नहीं था, इसलिए मैं टिप्पणी नहीं करूंगा।’ बीजेपी विधायक और विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी ने कहा कि बीजेपी के टिकट पर जीतकर वह तृणमूल कार्यालय गए तो उनका गर्मजोशी से स्वागत हुआ। उन्होंने कहा, ‘अब, अगर वह ऐसे बयान दे रहें है, तो यह लोगों पर है कि वे कैसे आलकन करते हैं। राज्य सरकार ने उन्हें भारी सुरक्षा मुहैया कराई है। उन्हें लोकलेखा समिति का अध्यक्ष बनाया है। अब तृणमूल कांग्रेस को देखने दें।’
गौरतलब है कि बीजेपी ने मुकुल रॉय को दल-बदल कानून के तहत विधानसभा सदस्य से अयोग्य करार देने और लोकलेखा समिति अध्यक्ष के पद से हटाने की मांग की है। (भाषा)