नई दिल्ली: गृहमंत्री अमित शाह के पश्चिम बंगाल दौरे से ठीक पहले सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस के तीन बड़े नेताओं के इस्तीफे से सियासी हलचल बढ़ गई है। अमित शाह के 19 और 20 दिसंबर के दौरे के दौरान कुछ और नेताओं का भी इस्तीफा हो सकता है। नेताओं के इस्तीफों से राज्य में जहां सियासी सरगर्मी बढ़ गई है, वहीं ममता बनर्जी की पार्टी में बेचैनी है। पश्चिम बंगाल में बीजेपी के प्रदेश उपाध्यक्ष रितेश तिवारी ने कहा कि गृहमंत्री अमित शाह के दौरे को लेकर बीजेपी कार्यकर्ता बेहद उत्साहित हैं।
पिछले 24 घंटे में पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस के तीन प्रमुख नेताओं ने इस्तीफा दिया। कुछ दिनों पहले परिवहन मंत्री पद से इस्तीफा देने वाले शुवेन्दु अधिकारी ने बुधवार को विधानसभा की सदस्यता से लेकर पार्टी के सभी पदों से भी इस्तीफा दे दिया। वहीं गुरुवार को दक्षिण बंगाल राज्य परिवहन निगम के अध्यक्ष पद से रिटायर्ड कर्नल दीप्तांगशु चौधरी और आसनसोल नगर निगम बोर्ड के प्रमुख के पद से विधायक जितेंद्र तिवारी ने भी इस्तीफा दे दिया।
वहीं, पिछले महीने नवंबर में कूचबिहार दक्षिण सीट से तृणमूल कांग्रेस विधायक मिहिर गोस्वामी ने पार्टी से इस्तीफा देते हुए दिल्ली में बीजेपी का दामन थाम लिया था। गृहमंत्री अमित शाह के दौरे से पहले लगातार बड़े नेताओं के साथ छोड़ने से जहां ममता बनर्जी की पार्टी में चिंता की लहर है, वहीं बीजेपी के नेता उत्साहित हैं।
पश्चिम बंगाल में बीजेपी के प्रदेश उपाध्यक्ष रितेश तिवारी ने कहा, "जब-जब गृहमंत्री अमित शाह का पश्चिम बंगाल दौरा होता है, तब-तब मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की धड़कनें तेज हो जाती हैं। क्योंकि गृहमंत्री अमित शाह जो कहते हैं वो करते हैं। बंगाल में गृहमंत्री अमित शाह के दावे के मुताबिक अगले साल होने वाले चुनाव में बीजेपी दो सौ से ज्यादा सीटें जीतकर सरकार बनाने जा रही है।"
बता दें कि अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव के मद्देनजर बीजेपी ने अपने अभियान में युद्ध स्तर पर तेजी लाते हुए केंद्रीय मंत्रियों, एक उपमुख्यमंत्री और कई केंद्रीय नेताओं को विभिन्न मोर्चों पर तैनात किया है और उन्हें छह से सात संसदीय क्षेत्रों की जिम्मेदारी सौंपी है। एक तरफ जहां अमित शाह इस सप्ताह के अंत में राज्य का दौरा करेंगे वहीं केंद्रीय मंत्रिपरिषद के उनके सहयोगी गजेन्द्र सिंह शेखावत, संजीव बालियान, प्रह्लाद पटेल, अर्जुन मुंडा और मनसुख भाई मांडविया अगले कुछ दिनों के भीतर प्रदेश का दौरा करेंगे।
सूत्रों के मुताबिक उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या और मध्य प्रदेश सरकार में वरिष्ठ मंत्री नरोत्तम मिश्रा को भी पश्चिम बंगाल में जिम्मेदारी सौंपी गई है। सूत्रों ने बताया कि शाह 19 दिसंबर को इन सभी नेताओं के साथ एक बैठक करेंगे और आगे की रणनीति पर चर्चा करेंगे। शाह बंगाल दौरे के दौरान एक राजनीतिक सभा को संबोधित करेंगे और मिदनापुर जिले में एक किसान के घर दोपहर का भोजन करेंगे। ऐसी खबरें और चर्चाएं हैं कि तृणमूल कांग्रेस से नाराज चल रहे पूर्व मंत्री शुभेन्दु अधिकारी, शाह की मौजूदगी में भाजपा का दामन थाम सकते हैं।
पश्चिम बंगाल के विधानसभा चुनाव में बीजेपी अभी तक कोई खास प्रभाव नहीं छोड़ पाई है लेकिन 2019 के लोकसभा चुनाव में राज्य की 18 सीटों पर मिली जीत से उसके हौंसले बुलंद हैं और वह तृणमूल कांग्रेस के मुख्य प्रतिद्वंद्वी के रूप में उभर कर सामने आई है। पार्टी के नेता लगातार दावा करते आ रहे हैं कि इस बार के विधानसभा चुनाव में बीजेपी, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल सरकार को उखाड़ सत्ता से बाहर फेंक देगी।
(Input IANS)