कोलकाता: पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को 'मां’ योजना की डिजिटल तरीके से शुरुआत की, जिसके तहत राज्य सरकार निर्धनों को पांच रुपए के किफायती मूल्य पर भोजन मुहैया कराएगी। इस योजना के तहत पांच रुपए में लोगों को थाली में चावल, दाल, एक सब्जी और अंडा करी मिलेगी। ममता ने कहा कि राज्य सरकार प्रति प्लेट 15 रुपये की सब्सिडी वहन करेगी और लोगों को यह पांच रुपये में मिलेगी। उन्होंने कहा कि स्वयं-सहायता समूह हर दिन अपराह्न एक बजे से तीन बजे के बीच रसोइयों का संचालन करेंगे तथा धीरे-धीरे राज्य में हर जगह ऐसे रसोईघर स्थापित किए जाएंगे।
ममता ने कहा, “किसी दिन मैं जाकर इसे चखूंगी।” इस योजना के तहत लोगों को भोजन ‘पहले आओ-पहले पाओ’ के आधार पर मिलेगा। ममता ने कहा, “यह अनूठा विचार है। हमने बजट में इस योजना की घोषणा की थी और आठ दिनों के भीतर इसे शुरू करने में सफल रहे।’’ उन्होंने इतने कम समय में इसे संभव बनाने के लिए विभिन्न विभागों के अधिकारियों का धन्यवाद दिया। तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता ने कहा कि राज्य सरकार ने इस योजना के लिए 1,00 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं।
उन्होंने कहा, “यह प्रायोगिक आधार पर शुरू किया गया है और शुरुआत में कुछ दिक्कतें आ सकती हैं।” पहले दिन, कोलकाता के अलावा मालदा, दक्षिण दिनाजपुर, पश्चिमी मेदिनीपुर और हावड़ा जैसे जिलों में कुछ स्थानों पर ‘मां’ रसोई शुरू हुयी। सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने पिछले साल सितंबर में राज्य में 'दीदीर रानाघर' नाम की ऐसी ही पहल शुरू की थी जिसमें लॉकडाउन के दौरान अपनी नौकरियां गंवाले वाले प्रवासी मजदूरों को पांच रुपये में भोजन दिया जाता था।
इस बीच ममता बनर्जी ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में राज्य में स्वास्थ्य के बुनियादी ढांचे में काफी सुधार हुआ है। कोलकाता में चितरंजन सेवा सदन अस्पताल में मदर एंड चाइल्ड हब का उद्घाटन करते हुए, बनर्जी ने कहा कि राज्य भर के अस्पतालों का अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप समुन्नयन किया गया है। उन्होंने कहा, ‘‘बंगाल स्वास्थ्य क्षेत्र में देश में अव्वल है। सरकार ने आवश्यक बुनियादी ढांचों का भी विकास किया है। पश्चिम बंगाल ने कोविड संकट से निपटने में भी बेहतरीन काम किया है।’’
बनर्जी ने कहा कि पश्चिम बंगाल अपने लोगों को मुफ्त राशन, मुफ्त स्वास्थ्य देखभाल और मुफ्त शिक्षा प्रदान करने वाला एकमात्र राज्य है। राज्य में 10 करोड़ लोगों को ‘स्वास्थ्य साथी’ कार्ड दिया गया है। मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि राज्य में अब 17 ‘मदर एंड चाइल्ड हब’ हैं और 43 ‘मल्टी-स्पेशियलिटी’ अस्पताल हैं।