![Bengal witnessing spurt in domestic violence cases during lockdown: Womens commission](https://static.indiatv.in/khabar-global/images/new-lazy-big-min.jpg)
कोलकाता: कोरोना वायरस महामारी के दौरान लागू देशव्यापी बंद के दौरान पश्चिम बंगाल में घरेलू हिंसा के मामलों में बढ़ोतरी हुई है। राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष लीना गंगोपाध्याय ने कहा कि कई महिलाएं सामान्य समय में भी घरेलू हिंसा, मौखिक और शारीरिक प्रताड़ना का शिकार होती रही हैं लेकिन बंद के दौरान स्थिति और भी खराब हो गई है। गंगोपाध्याय ने कहा, ‘‘अप्रैल से महिलाओं के खिलाफ घरेलू हिंसा के मामले बढ़े हैं और मई में भी यह जारी है। कई ऐसे मामले हैं जिनमें बंद से पहले की घटनाएं दोहराई गई हैं।’’
उन्होंने कहा कि बंद लागू होने के बाद से आयोग के पास 70 मामले आए हैं। कोलकाता समेत राज्य के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों से ये मामले सामने आए हैं। उन्होंने बताया कि कई ताजा मामले हैं जबकि कई ऐसे मामले हैं जिनमें शिकायतकर्ता पहले भी प्रताड़ना और मानसिक उत्पीड़न का शिकार हो चुकी हैं लेकिन बंद के दौरान फिर से वही चीजें उनके साथ होने लगी। घरेलू हिंसा का सामना कर रहीं इनमें से ज्यादातर महिलाएं गृहिणी हैं।
उन्होंने कहा कि बंद की अवधि में उनके पास आई शिकायतें बंद लागू होने से पहले के मुकाबले कहीं ज्यादा हैं। ये शिकायतें फोन, व्हाट्सएप और ईमेल के जरिए आई हैं। गंगोपाध्याय ने कहा कि आयोग इन शिकायतों पर सोमवार से कार्रवाई शुरू करेगा और पीड़ित महिलाओं को फोन पर जरूरी सलाह मुहैया कराएगा।
उन्होंने कहा, ‘‘कई ऐसे मामले हैं जिनमें महिलाओं की पड़ोसियों ने हमें पीड़ित के बारे में बताया लेकिन जब हम पहुंचे तो वह शिकायत करने से डर रही थीं। हमने ऐसी महिलाओं से कहा कि जब उन्हें ठीक लगे तब वह हमसे संपर्क कर सकती हैं।’’