Highlights
- 'छापेमारी के दौरान बरामद रुपये मेरे नहीं हैं'
- अर्पिता ने बताया था कि कैश पार्थ चटर्जी का है
- पार्थ का दावा, उनके खिलाफ साजिश की जा रही
Bengal SSC Scam: पश्चिम बंगाल में टीचर भर्ती घोटाले में गिरफ्तार पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी ने आज रविवार को दावा किया है कि प्रवर्तन निदेशालय (ED) की छापेमारी के दौरान बरामद रुपये उनके नहीं हैं। पार्थ चटर्जी को रविवार को मेडिकल चेकअप के लिए ईएसआई अस्पताल लाया गया। वह गाड़ी से उतरे तभी पत्रकारों ने उनसे पूछा कि इस साजिश के पीछे किसका हाथ है, इस पर उन्होंने कहा कि समय आने पर आपको पता चल जाएगा, पैसा मेरा नहीं है।
इससे पहले पार्थ चटर्जी की सहयोगी अर्पिता मुखर्जी ने बताया था कि कैश पार्थ चटर्जी का है। वहीं, टीएमसी (TMC) के सभी पदों से हटाए जाने और मंत्रिमंडल से बर्खास्त किए जाने के एक दिन बाद पार्थ चटर्जी ने शुक्रवार को दावा किया था कि उनके खिलाफ साजिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि उन्हें साजिश का शिकार बनाया जा रहा है।
समय बताएगा TMC की कार्रवाई उचित थी या नहीं- पार्थ
साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि समय बताएगा कि टीएमसी ने उनके विरुद्ध जो कार्रवाई की वह उचित थी या नहीं। गिरफ्तारी से पहले चटर्जी के पास औद्योगिक और संसदीय मामलों का विभाग था। उनके शिक्षा मंत्री रहते कथित घोटाला हुआ था, जिसकी जांच के दौरान चटर्जी की करीबी सहायक अर्पिता मुखर्जी के ठिकानों से करोड़ों रुपये की नकदी बरामद हुई।
केंद्रीय जांच एजेंसी पार्थ चटर्जी से जुड़े करीब 17 ठिकानों पर छापा मार चुकी है। वहीं, अर्पिता के चार फ्लैट्स पर ED छापेमारी कर चुकी है। अर्पिता मुखर्जी के घर पहली छापमेारी में करीब 22 करोड़ रुपये और 70 लाख का सोना, जबकि दूसरी छापेमारी में करीब 28 करोड़ कैश और 4 करोड़ से ज्यादा का सोना बरामद किया था।
3 अगस्त तक ईडी की हिरासत में पार्थ चटर्जी और अर्पिता
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पार्थ चटर्जी और अर्पिता मुखर्जी, दोनों को गिरफ्तार किया है। दोनों फिलहाल 3 अगस्त तक ईडी की हिरासत में हैं। गौरतलब है कि कलकत्ता हाई कोर्ट के निर्देश के बाद केंद्रीय जांच एजेंसी (CBI), पश्चिम बंगाल स्कूल सेवा आयोग की सिफारिशों पर ग्रुप-सी और डी कर्मचारियों के साथ-साथ सरकारी प्रायोजित और सहायता प्राप्त स्कूलों में शिक्षकों की भर्ती में कथित अनियमितताओं की जांच कर रही है। वहीं, ईडी घोटाले में शामिल मनी ट्रेल की जांच कर रही है।