हम में से अधिकतर लोगों ने गुरुद्वारा में जाकर लंगर जरूर ही खाया होगा।
Image Source : FILE IMAGE लंगर के खाने का स्वाद ऐसा होता है कि इसे खाने के बाद कोई भूल ही नहीं पाता है।
Image Source : TWITTER ऐसा हो भी क्यों नहीं आखिर लंगर का खाना वाहे गुरु का प्रसाद जो होता है।
Image Source : TWITTER यही वजह है कि लंगर का खाना थाली में उतना ही लेना चाहिए जितना आप खा सको।
Image Source : FILE IMAGE लंगर का खाना घर भर कर लाना सही नहीं माना जाता है, क्योंकि यह एक तरह का प्रसाद होता है।
Image Source : FILE IMAGE प्रसाद को हमेशा प्रसाद की तरह खाना चाहिए, जिससे दूसरे लोगों को भी खाने का मौका मिले।
Image Source : TWITTER हालांकि, अगर आप घर के अन्य सदस्यों को भी लंगर का प्रसाद ग्रहण करवाना चाहते हैं तो घर ले जाने में कोई बुराई नहीं है।
Image Source : TWITTER लंगर का खाना कभी थाली में नहीं छोड़ा जाता है। लंगर का खाना जितना आप खा सकते हैं उतना ही लेना चाहिए।
Image Source : TWITTER आपको बता दें कि गुरुद्वारा सिखों का सबसे पवित्र स्थल होता है, जहां वे वक्त-वक्त पर सेवा करने भी जाते हैं।
Image Source : FILE IMAGE (Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं। इंडिया टीवी इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है।)
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