आज के समय में जहां शादी के कुछ ही साल बाद पति और पत्नी के बीच तलाक हो जा रहा है, वहीं इंदौर से एक ऐसा मामला सामने आया है जो पति-पत्नी के बीच प्यार का सही मतलब समझाएगा। इंदौर में एक कपल का एक्सिडेंट हो गया जिसके बाद उन्हें एक अस्पताल में इलाज के लिए पहुंचाया गया। उस अस्पताल में फिर जो भी हुआ उसके बारे में जानकर आप भावुक हो जाएंगे और खुद कहेंगे कि ऐसा होता है सच्चा प्यार।
आखिर क्या है यह मामला?
दरअसल इंदौर में एक सड़क हादसा हुआ जिसमें शाजापुर के रहने वाले भूपेंद्र राठौर और उनकी पत्नी मनीषा राठौर, दोनों गंभीर रूप से घायल हो गए। इसके बाद उन्हें इंदौर के एक निजी अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया। अस्पताल में दोनों के बेड अगल-बगल में थे। इलाज के दौरान मनीषा राठौर की हालत बिगड़ने लगी और कुछ समय बाद डॉक्टरों ने मनीषा को ब्रेन डेड घोषित कर दिया। मनीषा को ब्रेन डेड घोषित करने के बाद डॉक्टरों ने अंगदान करने की सलाह दी। भूपेंद्र अपनी पत्नी के निधन के बाद दूसरों को जीवन मिल सके इसलिए अंगदान करने का निर्णय लिया। कीडनी, लीवर और आंखों को दान करने के लिए ग्रीन कॉरिडोर तैयार किया गया।
मगर सबसे भावुक पल इसके बाद आया जब खुद भी हादसे में घायल भूपेंद्र ने अपनी पत्नी के बिस्तर के पास लेटे-लेटे ही उनकी मांग में सिंदूर भरा। अपनी पत्नी की मांग में सिंदूर भरने के बाद उनके माथे पर बिंदी लगाई और फिर अपनी पत्नी को अंतिम विदाई दी।
सभी लोग हो गए भावुक
इस दौरान वहां जितने भी लोग मौजूद थे, वो सभी इस प्यार और समर्पण को देखकर भावुक हो गए। मनीषा के अंगों को दान करने का फैसला एक बड़ा कदम था, जिससे अन्य लोगों को जीवन मिल सकता है। इस त्यागपूर्ण कार्य ने समाज में मानवता और समर्पण की एक नई मिसाल पेश की है। इस मार्मिक दृश्य ने यह साबित कर दिया कि प्यार सच्चा और शाश्वत होता है। सच्चे प्यार की कोई सीमा नहीं होती।
(भारत पाटिल की रिपोर्ट)
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