बहराइच: यूपी के बहराइच में भेड़ियों के आतंक पर लगाम लगती दिख रही है। वन विभाग ने पांचवें भेड़िये को भी पकड़ लिया है। उसे वन विभाग के रेस्क्यू शेल्टर में ले जाया जा रहा है। अब तक कुल 5 भेड़िये पकड़े जा चुके हैं और एक भेड़िया अभी भी खुला घूम रहा है। उसे पकड़ने की कोशिश की जा रही है।
आज जो भेड़िया पकड़ा गया है, वह बहराइच के हरबख्शसिंह पुरवा गांव के जंगल से सुबह तड़के वन विभाग की टीम ने पकड़ा है। जिन दो भेड़ियों की तलाश थी, उनमें से ये एक था। भेड़िये को सुबह 6 बजे के करीब पकड़ा गया है।
डीएफओ का बयान आया सामने
इस मामले में डीएफओ अजीत प्रताप सिंह का बयान भी सामने आया है। उन्होंने कहा, 'हमने पांचवां भेड़िया पकड़ लिया है। एक बचा है, हम उस भेड़िये को भी जल्द ही पकड़ लेंगे। हम हर दिन बचे हुए भेड़िये को पकड़ने की पूरी कोशिश कर रहे हैं।'
बहराइच और सीतापुर में भेड़ियों ने मचा रखा आतंक
बीते कुछ दिनों से बहराइच में भेड़ियों ने आतंक मचा रखा था। हालही में भेड़िये ने एक 5 साल की बच्ची पर हमला किया था, जिसमें बच्ची घायल हो गई थी। बच्ची को इलाज के लिए सीएचसी महसी भेजा गया था।
बहराइच के बाद सीतापुर में भी भेड़िये के हमले से लोगों में दहशत फैल गई थी। हालही में सीतापुर में छह लोगों पर भेड़िये ने हमला किया था। इनमें से एक वृद्ध महिला की मौत हो गई, जबकि अन्य पांच लोग घायल थे। घायलों में चार बच्चे भी शामिल थे। मामला सदरपुर इलाके का था।
बहराइच में भेड़ियों के हमले में सात लोगों की मौत की खबर सामने आई थी। 35 से ज्यादा गांवों में भेड़िये के डर से लोग चैन की नींद नहीं सो पा रहे थे। लोगों का दावा है कि एक दर्जन के करीब भेड़िये गांव में घूम रहे हैं। हालांकि, वन विभाग इनकी संख्या कम बता रहा था।
कुत्ते को भेड़िया समझकर लाठी-डंडों से पीट-पीटकर मारने का भी मामला
इससे पहले खबर सामने आई थी कि बहराइच जिले के महसी क्षेत्र में बृहस्पतिवार रात से शुक्रवार सुबह तक तीन ग्रामीणों को कुत्ते के काटने की घटना के बाद गांव वालों ने कुत्ते को भेड़िया समझकर लाठी-डंडों से पीट-पीट कर मार डाला। प्रभागीय वनाधिकारी (डीएफओ) अजीत प्रताप सिंह ने शुक्रवार शाम को संवाददाताओं को बताया कि महसी तहसील क्षेत्र के ग्राम यादवपुर के मजरा लोधनपुरवा में बृहस्पतिवार रात करीब साढ़े नौ बजे स्थानीय निवासी संगम लाल पर जानवर द्वारा हमले की खबर मिलते ही वनकर्मी मौके पर पहुंचे।
ग्रामीणों ने भेड़िए का हमला बताया लेकिन वनकर्मियों को भेड़िए के पैरों के निशान नहीं मिले। डीएफओ ने बताया कि शुक्रवार सुबह दोबारा इसी गांव से सूचना मिली कि कृपाराम (65) व उनके पोते सत्यम (4) पर किसी जानवर ने हमला कर दिया है। हमलों के बाद ग्रामीणों ने जानवर को भेड़िया समझकर लाठी डंडों से पीट-पीटकर मार डाला। वनकर्मी पहुंचे तो मृत जानवर कुत्ता निकला। गांव में भेड़िये के पैरों के निशान नहीं मिले। घायल कृपाराम ने भी मृत कुत्ते को देखकर कहा कि हमला उसी जानवर ने किया है। घायलों का उपचार जारी है।