इटावा जिला मुख्यालय के सिविल लाइन थाने में तैनात एक पुलिस उप निरीक्षक (दरोगा) ने कथित तौर पर रविवार देर शाम अपने सहकर्मी की रिवाल्वर से गोली मारकर आत्महत्या कर ली। पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी। इटावा के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) संजय कुमार वर्मा ने बताया कि नगर के सिविल लाइन थाने में तैनात उप निरीक्षक सत्येन्द्र वर्मा (32) ने रविवार देर शाम अपने निजी आवास में सहकर्मी की सर्विस रिवाल्वर से उस समय अपने आपको गोली मार ली जब उसका सहकर्मी रिवाल्वर कमरे में छोडकर शौचालय गया था।
पिता की मौत के बाद मिली थी नौकरी
उन्होंने बताया कि सत्येंद्र मूलरूप से हरदोई जिले का निवासी था और अपने पिता के निधन के बाद उसे नौकरी मिली थी। एसएसपी ने बताया कि दरोगा कुछ समय से अवसाद में था। उन्होंने कहा मामले की जांच की जा रही है।
काफी तनाव में थे दरोगा
एसएसपी ने बताया कि रविवार शाम करीब सात बजे सिविल लाइंस थाने में तैनात एसआई सत्येन्द्र वर्मा ने वृन्दावन कॉलोनी में अपने किराये के मकान में सर्विस रिवॉल्वर से गोली मारकर आत्महत्या कर ली। उनका परिवार शहर की वृन्दावन कॉलोनी में किराए के मकान में रहता था। उनकी पत्नी सविता वर्मा ने पुलिस को बताया कि संजय दोपहर में काम से लौटे थे और काफी तनाव में थे। उसने उससे ज्यादा बात नहीं की और एक कमरे में जाकर लेट गया।
घर के काम में व्यस्त थी तभी मैंने गोली चलने की आवाज़ सुनी। मैंने पाया कि पति मुश्किल से सांस ले रहे थे और उनका सर्विस हथियार पास में ही पड़ा हुआ था। उन्होंने कहा, पड़ोसियों की मदद से उन्हें जिला अस्पताल ले जाया गया। जहां पर उन्हें मृत घोषित कर दिया गया।
छुट्टी नहीं मिलने से निराश थे
सविता वर्मा ने आरोप लगाया कि वह पिछले तीन महीने से अवसाद से पीड़ित थे और छुट्टी पर अपने गांव जाना चाहता था। हालांकि, कई बार छुट्टियों का अनुरोध करने के बावजूद मंजूर नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि स्थिति से निराश होकर उसने अपनी जान ले ली। घटना की सूचना मिलने पर जिलाधिकारी अवनीश राय और एसएसपी संजय वर्मा अस्पताल पहुंचे. एसएसपी ने मामले की जांच के आदेश दिये हैं।