Wednesday, September 18, 2024
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यूपी विधानसभा उपचुनाव : सपा, कांग्रेस के लिए साथ मिलकर लड़ना मजबूरी, क्या है दोनों दलों की चुनावी रणनीति? जानें

जिन 10 सीटों पर चुनाव हो रहे हैं उनमें से एक भी सीट कांग्रेस के पास नहीं रही है। सूत्रों के मुताबिक लोकसभा चुनाव रिजल्ट से उत्साहित कांग्रेस ने 10 में से 4 सीट लेने का प्लान बना रखा है।

Edited By: Niraj Kumar @nirajkavikumar1
Published on: July 20, 2024 20:26 IST
Rahul gandhi, Akhilesh Yadav- India TV Hindi
Image Source : FILE राहुल गांधी और अखिलेश यादव

लखनऊ:  उत्तर प्रदेश में विधानसभा की 10 सीटों पर होनेवाले उपचुनाव को लेकर सियासी गरमाहट तेज होती जा रही है। बीजेपी ने सभी 10 सीटों पर जीत का लक्ष्य तय कर लिया है वहीं इस उपचुनाव को समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के लिए मिलकर लड़ना मजबूरी हो गया है। राजनीतिक जानकार बताते हैं कि लोकसभा चुनाव में इंडिया गठबंधन को मिली बड़ी जीत के बाद सपा और कांग्रेस के हौसले बुलंद हैं। 

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10 में से एक भी सीट कांग्रेस के पास नहीं

प्रदेश की 10 सीटों पर होने वाले उपचुनाव के लिए सपा और कांग्रेस ने रणनीति बनानी शुरू कर दी है। हालांकि अभी तक चुनाव की तारीख नहीं घोषित हुई है, फिर भी सभी दलों ने अपनी तैयारियां शुरू कर दी हैं। जिन सीटों पर चुनाव हो रहे हैं उनमें से एक भी सीट कांग्रेस के पास नहीं रही है। पांच सीट सपा के पास जरूर रही है।सूत्रों की मानें तो कांग्रेस ने 10 में से 4 सीट लेने का प्लान बना रखा है। लेकिन यह सब कुछ 21 जुलाई की मीटिंग में फाइनल होगा।

लोकसभा चुनाव से कांग्रेस को मिली संजीवनी

राजनीतिक जानकारों का मानाना है कि लोकसभा चुनाव में मिली सफलता के बाद दोनों दल एकजुटता का प्रदर्शन करते नजर आ रहे हैं। लेकिन लोकसभा में छह सीट जीतने के बाद कांग्रेस को संजीवनी मिल गई है। इस कारण वह भी यूपी में सपा के बराबर की राजनीति करती नजर आएगी। सपा के सामने मजबूरी है कि वह उपचुनाव में कांग्रेस को साध के चले क्योंकि सपा को राष्ट्रीय पार्टी बनने के लिए और राज्यों में भी पैर फैलाने होंगे। इसके लिए उसे गठबंधन के जरिए ही आगे बढ़ना होगा। शायद सपा मुखिया इस बात को अच्छी तरह से जानते हैं। इसी कारण वह उपचुनाव में कांग्रेस को सीट देने में पीछे नहीं हटेंगे। हरियाणा और महाराष्ट्र के चुनाव में सपा भी इंडिया गठबंधन के जरिए इन दोनों राज्यों पर चुनाव लड़ने के सपने देख रही है। इसलिए फिलहाल अभी दोनों को एक दूसरे की जरूरत है।

21 जुलाई को कांग्रेस की अहम बैठक

दोनों दलों के बीच जल्द सीटों का बंटवारा होने की उम्मीद है, जिससे दोनों ही दल अपने हिस्से आई सीटों पर गतिविधियां बढ़ा सके।कांग्रेस के उत्तर प्रदेश के प्रभारी अविनाश पांडे का कहना है कि यूपी में 10 सीटों पर होने वाले विधानसभा उपचुनाव में कांग्रेस निश्चित तौर पर चुनाव लड़ेगी। 21 जुलाई को जिन क्षेत्रों पर चुनाव है वहां के लोगों के साथ बैठक कर फीडबैक लेंगे। इस बैठक को प्रदेश अध्यक्ष लीड करेंगे। अभी चुनाव का नोटिफिकेशन भी नहीं आया है। लेकिन फिर भी पार्टी अपनी तैयारी कर रही है। जिन क्षेत्रों में चुनाव होने हैं वहां के जिला अध्यक्ष और वरिष्ठ नेताओं के साथ मंत्रणा की जायेगी। जहां जहां बेहतर संभावना होगी, उस पर फैसला लिया जाएगा। हम लोग गठबंधन के साथ ही मिलकर चुनाव लड़ेंगे।

समाजवादी पार्टी ने भी तैयारियां शुरू की

समाजवादी के प्रवक्ता अशोक यादव का कहना है कि यूपी में 10 सीटों पर होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए पार्टी ने तैयारी शुरू कर दी है। हम लोग इंडिया गठबंधन के तहत चुनाव लड़ेंगे। कांग्रेस के साथ सीट शेयरिंग पर राष्ट्रीय अध्यक्ष ही फैसला लेंगे। सपा अब पीडीए नीति को लेकर आगे चलेगी। सपा सभी 10 सीटों पर सफलता हासिल करेगी। प्रदेश में जिन 10 सीटों पर उपचुनाव होना है, उनमें पांच सीटें करहल, कटेहरी, मिल्कीपुर, कुंदरकी व सीसामऊ सपा के पास थीं। जबकि खैर, गाजियाबाद व फूलपुर भाजपा के पास थीं। मझवां निषाद पार्टी व मीरापुर रालोद के पास थी। नौ सीटों पर सांसद बनने की वजह से और एक सीट पर सदस्य को सजा होने के कारण चुनाव हो रहे हैं। 

(इनपुट-आईएएनएस)

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