समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने एक फिर हिंदू धर्म के खिलाफ विवादित टिप्पणी की है, जिसके बाद हंगामा शुरू हो गया है। उनके बयान पर कड़ा आक्रोश व्यक्त करते हुए संत समाज ने मंगलवार को उन्हें चेतावनी दी। संत समाज ने कहा कि वह स्वयं पर अंकुश लगाएं नहीं तो उनका मुंह काला किया जाएगा। चर्चाओं में बने रहने के लिए ऐसे बयान देने का आरोप लगाते हुए अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत रविंद्र पुरी महाराज ने कहा कि अगर मौर्य ऐसी टिप्पणियां करने से बाज नहीं आए तो संत समाज को उनका मुंह काला करने पर मजबूर होना पड़ेगा।
"ये नेता 2014 के बाद से ही सक्रिय हुए"
महंत रविंद्र पुरी महाराज ने कहा कि ये नेता 2014 के बाद से ही सक्रिय हुए हैं। इनकी ओर से बीजेपी और सनातन धर्म को बुरा भला कहा जा रहा है और ऐसा करके ये चर्चा में बने रहना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि भारत के लोग इनको पसंद नहीं करते और इसी वजह से इन्हें लगातार हार का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि संत समाज ने अब तक इनको बर्दाश्त किया है, लेकिन अगर ये हिंदू समाज को अपमानित करने से बाज आए नहीं, तो हमें इनके मुंह पर कालिख पोतनी पड़ेगी।
"वे मानसिक रूप से बीमार हो गए हैं"
महामंडलेश्वर रूपेंद्र प्रकाश महाराज ने भी स्वामी प्रसाद के बयान की कड़ी निंदा करते हुऐ कहा कि वे मानसिक रूप से बीमार हो गए हैं। उन्होंने सपा के अध्यक्ष अखिलेश यादव से मौर्य को पार्टी से बर्खास्त करने की मांग करते हुए कहा कि इस मसले पर उन्हें अपनी स्थिति साफ करनी चाहिए कि उन्हें हिंदुओं के वोट चाहिए या नहीं।
अखिलेश की नसीहत नहीं माने मौर्य
बता दें कि सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने हाल ही में पार्टी नेताओं को विवादित बयान देने से बचने की नसीहत दी थी, इसके बावजूद स्वामी प्रसाद मौर्य का एक बार फिर विवादित बयान सामने आया है। स्वामी प्रसाद दिल्ली में जंतर-मंतर पर एक कार्यक्रम में शामिल हुए थे, यहां उन्होंने कहा था कि हिंदू एक धोखा है। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत ने दो बार कहा है कि हिंदु नाम का कोई धर्म नहीं है, बल्कि यह जीने का एक तरीका है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी कहा है कि हिंदू कोई धर्म नहीं है। जब ये लोग ऐसे बयान देते हैं तो भावनाएं आहत नहीं होतीं, लेकिन अगर स्वामी प्रसाद मौर्य यही कहता है तो इससे अशांति पैदा हो जाती है।