
मेरठ: उत्तर प्रदेश के मेरठ में एक प्राइवेट यूनिवर्सिटी में होली के दिन खुले में नमाज पढ़ने से जुड़े मामले में पुलिस ने मुख्य आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस क्षेत्राधिकारी शिव प्रताप सिंह ने रविवार को बताया, ''आईआईएमटी विश्वविद्यालय परिसर में खुले में नमाज अदा करने का एक वीडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित हुआ था। इस मामले के मुख्य आरोपी खालिद मेवाती को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है।''
सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने का इरादा
सिंह के मुताबिक, मामले में गंगा नगर थाने में कार्तिक हिंदू नामक व्यक्ति की शिकायत पर मेवाती के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था। आईआईएमटी विश्वविद्यालय के प्रवक्ता सुनील शर्मा ने बताया कि आंतरिक जांच में पाया गया है कि विश्वविद्यालय में सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने के इरादे से बिना इजाजत परिसर में खुले में नमाज पढ़ी गई और इसका वीडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित किया गया।
बीएनएस की धाराओं में दर्ज हुआ मुकदमा
शर्मा ने कहा, “विश्वविद्यालय ने वीडियो अपलोड करने वाले खालिद प्रधान के खिलाफ पुलिस और प्रशासनिक कार्रवाई का अनुरोध किया था।” उन्होंने बताया कि आरोपियों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 299 (जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण कार्य, जिसका उद्देश्य किसी वर्ग के धर्म या धार्मिक आस्था का अपमान करके उसकी धार्मिक भावनाओं को आहत करना है) और सूचना प्रौद्योगिकी (संशोधन) अधिनियम 2008 की सुसंगत धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
तीन सुरक्षाकर्मी सस्पेंड
आईआईएमटी विश्वविद्यालय के छात्र खालिद प्रधान उर्फ खालिद मेवाती की ओर से सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किए जाने के बाद यह घटना सुर्खियों में आई थी। वीडियो में छात्र विश्वविद्यालय परिसर में खुले में नमाज अदा करते दिखाई दे रहे थे। स्थानीय हिंदू समूहों ने इस घटना को लेकर विरोध-प्रदर्शन किया था। वहीं, विश्वविद्यालय प्रशासन ने मामले को लेकर खालिद प्रधान और तीन सुरक्षाकर्मियों को निलंबित कर दिया था। (भाषा)