ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव को जमकर खरी-खरी सुनाई। उन्होंने अखिलेश यादव पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि उन्हें सिर्फ मुसलमानों का वोट चाहिए। मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने कहा, ''2022 के विधानसभा चुनाव में मुसलमानों ने समाजवादी पार्टी को जमकर वोट दिया, जितने भी एमएलए सपा से जीतकर आए हैं, चाहे वह मुस्लिम हों या गैर मुस्लिम, ये सभी मुसलमानों के वोट से जीतकर आए हैं। ऐसे में राज्यसभा की 3 सीटों पर मुस्लिम का हक बनता है, इन सीटों पर मुसलमानों को कैंडिडेट बनाया जाए। लेकिन अखिलेश यादव ने किसी भी मुस्लिम को प्रत्याशी न बनाकर गैर मुस्लिम को कैंडिडेट बनाया।"
'जो हश्र आजम खां का हुआ है, उसके पीछे भी अखिलेश का हाथ'
उन्होंने आगे कहा कि इसका सीधा-सीधा मतलब है कि उन्हें सिर्फ मुसलमानों का वोट चाहिए। वह सिर्फ कुर्सी के लालच में मुसलमानों के वोट का इस्तेमाल करते हैं और उन्हें बेवफूक समझते हैं। आजम खां को लेकर मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने आगे कहा, "जो हश्र आजम खां का हुआ है, इस स्थिति के पीछे अखिलेश यादव का भी हाथ है। जब शुरुआती दौर में आजम खां पर दबिश दी गई और उन्हें गिरफ्तार किया गया, तब अखिलेश यादव खामोश रहे। उनको एक बार भी तकलीफ नहीं हुई कि एक बार सीतापुर जेल में जाकर आजम खां से मिलें।"
'बीजेपी को हराना नहीं चाहते अखिलेश'
उन्होंने अखिलेश यादव पर कई मुस्लिम नेताओं को साइडलाइन करने का भी आरोप लगाया। मौलाना रिजवी ने 2024 लोकसभा चुनाव में सपा प्रमुख के पीडीए द्वारा एनडीए के हराने के दावे पर कहा, ''अखिलेश यादव ने खुद ही पीडीए की हवा निकाल दी। वो बीजेपी को हराना नहीं चाहते हैं। वो नहीं चाहते हैं कि सपा, बसपा और कांग्रेस आए। बिना मुस्लिम समुदाय के पीडीए का कुछ नहीं होगा।"
मौलाना बरेलवी ने अखिलेश को लिखी चिट्ठी
बता दें कि अखिलेश यादव ने जया बच्चन, रामजी लाल सुमन और आलोक रंजन को सपा से राज्यसभा का उम्मीदवार बनाया है। मौलाना बरेलवी ने राज्यसभा में किसी भी मुस्लिम को प्रत्याशी न बनाए जाने पर सपा प्रमुख को चिट्ठी लिखकर अपनी नाराजगी जताई। उन्होंने अपना विरोध दर्ज कराते हुए अखिलेश यादव से पूछा, "आखिर उन्होंने एक भी मुस्लिम प्रत्याशी को राज्यसभा का उम्मीदवार क्यों नहीं बनाया।" बरेलवी ने पत्र में अखिलेश यादव से कहा है कि अगर अखिलेश चोर दरवाजे से भाजपा को समर्थन देना चाह रहे हैं, तो उत्तर प्रदेश का मुसलमान खामोश नहीं बैठेगा। (IANS)
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