Friday, January 03, 2025
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Mahakumbh: प्रयागराज ही नहीं अयोध्या में भी श्रद्धालुओं का लगेगा तांता, जानिए कितने करोड़ लोग कर सकते हैं रामलला के दर्शन?

महाकुंभ मेले को लेकर प्रयागराज के प्रशासन ने खास तैयारी की है। वहीं, अयोध्या में भी महाकुंभ मेले को दौरान बड़ी संख्या में श्रद्धालु रामलला के दर्शन कर सकते हैं। इसको लेकर प्रशासन अभी से तैयारियों में जुट गया है।

Edited By: Dhyanendra Chauhan @dhyanendraj
Published : Dec 30, 2024 7:35 IST, Updated : Dec 30, 2024 7:41 IST
महाकुंभ के दौरान रामलला के दर्शन
Image Source : FILE PHOTO महाकुंभ के दौरान रामलला के दर्शन

प्रयागराज में अगले साल महाकुंभ का मेला है। महाकुंभ में श्रद्धा की डुबकी लगाने के लिए आने वाले श्रद्धालुओं के अयोध्या में रामलला के दर्शन करने के वास्ते पहुंचने की संभावना है। अयोध्या नगर निगम के अनुसार 13 जनवरी से 12 फरवरी के बीच करीब ढाई करोड़ श्रद्धालुओं के शहर में आने की संभावना है। 

करीब 10 फीसदी श्रद्धालु कर सकते हैं रामलला के दर्शन

नगर निगम के अधिकारियों को नए साल के दिन अयोध्या में करीब तीन से पांच लाख श्रद्धालुओं के आने की भी उम्मीद है। अयोध्या के महापौर गिरीश पति त्रिपाठी ने रविवार को बताया, ‘हमें उम्मीद है कि प्रयागराज में महाकुंभ में आने वाले करीब 10 फीसदी श्रद्धालु भगवान राम के दर्शन के लिए अयोध्या आएंगे।’ 

 2.5 से तीन करोड़ श्रद्धालु आ सकते हैं अयोध्या 

इसके साथ ही उन्होंने कहा, ‘चूंकि महाकुंभ में 25 करोड़ लोगों के आने की संभावना है, इसलिए हमारा मानना ​​है कि पौष पूर्णिमा (13 जनवरी 2025) से माघी पूर्णिमा (12 फरवरी) तक की अवधि में 2.5 से तीन करोड़ श्रद्धालु अयोध्या आएंगे।’ 

किए गए सभी इंतजाम

शहर के मेयर गिरीश पति त्रिपाठी ने कहा कि फिलहाल अयोध्या में रोजाना डेढ़ से दो लाख लोग आ रहे हैं। उन्होंने कहा कि नए साल के दिन (1 जनवरी) तीन से पांच लाख लोग शहर आएंगे। महापौर ने कहा कि श्रद्धालुओं की भीड़ को संभालने के लिए सभी इंतजाम किए गए हैं। 

ठंड से बचने के लिए की गई व्यवस्था

क्षेत्र में ठंड के मौसम की स्थिति के मद्देनजर उठाए गए कदमों के बारे में पूछे जाने पर त्रिपाठी ने कहा कि पांच हजार लोगों के ठहरने की क्षमता वाली टेंट सिटी (अयोध्या में) स्थापित करने का प्रस्ताव पर्यटन विभाग को भेजा गया है। उन्होंने कहा, ‘कई स्थानों पर रैन बसेरे बनाए गए हैं और अलाव की व्यवस्था की गई है। इसलिए, हमें उम्मीद है कि हम ठंड के मौसम की चुनौतियों का सामना करने में सक्षम होंगे।’

13 जनवरी से 26 फरवरी तक महाकुंभ

बता दें कि महाकुंभ-2025 उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में 13 जनवरी से 26 फरवरी तक आयोजित होगा। महाकुंभ के बारे में विस्तार से बताते हुए प्रयागराज के ‘राम नाम बैंक’ के संयोजक आशुतोष वार्ष्णेय ने कहा कि महाकुंभ मेले में स्नान करना सबसे महत्वपूर्ण अनुष्ठान है। उन्होंने कहा कि त्रिवेणी संगम (नदियों के संगम) पर लाखों तीर्थयात्री इस पवित्र प्रथा में भाग लेने के लिए एक साथ आते हैं। 

गंगा में डुबकी लगाने के बाद रामलला के दर्शन

वार्ष्णेय ने बताया कि स्नान अनुष्ठान के अलावा, तीर्थयात्री गंगा के तट पर पूजा भी करते हैं। उन्होंने कहा, ‘महाकुंभ अवधि के दौरान गंगा में डुबकी लगाने के बाद अगर किसी श्रद्धालु को अयोध्या में भगवान राम के दर्शन करने का अवसर मिलता है, तो यह निश्चित रूप से उनके लिए एक अतिरिक्त दिव्य क्षण होगा।’ 

पीटीआई के इनपुट के साथ

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