मुजफ्फरनगर: कावड़ यात्रा के इस महाकुंभ में मध्य प्रदेश के 109 युवा इस साल की सबसे बड़ी कांवड़ यात्रा करने जा रहे हैं। 109 सदस्यों का यह दल उत्तराखंड के गंगोत्री से तमिलनाडु के रामेश्वरम तक लगभग 3000 किलोमीटर की कांवड़ यात्रा कर रहे हैं। इनके इस बड़े काफिले में 4 बड़े ट्रक, 3 कार और 5 मोटरसाइकिल है। सबसे बड़ी डाक कांवड़ कर रहे मध्यप्रदेश के इन कांवड़ यात्रियों ने बताया है कि उनका उद्देश्य संपूर्ण भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित करने और सनातन धर्म का प्रचार करने हेतु यह सभी लोग अपनी दूसरी कांवड़ यात्रा कर रहे हैं।
24 घंटे चलती रहती है यह कांवड़ यात्रा
इससे पहले इस दल ने उत्तराखंड के गंगोत्री से उज्जैन के महाकाल मंदिर में जलाभिषेक कर अपनी यात्रा की थी। इस साल 109 लोगों का यह जत्था श्रवण मास के पहले दिन से उत्तराखंड के गंगोत्री से गंगाजल लेकर तमिलनाडु के रामेश्वरम जा रहे हैं। इनका कहना है कि हमारी कावड़ यात्रा निरंतर 24 घंटे चलती रहती है और लगभग 1 माह के अंदर उनकी कांवड़ यात्रा रामेश्वरम पहुंच जाएगी जहां यह सभी लोग रामेश्वरम शिवलिंग का जलाभिषेक कर अपनी यात्रा को संपूर्ण करेंगे।
12 साल में पूरी होगी 12 ज्योतिर्लिंगों की कांवड़ यात्रा
मध्य प्रदेश के इंदौर जनपद निवासी डाक कांवड़ यात्री नितिन चौहान, रामलाल पाटीदार और राजेश गोयला अपने सभी 109 सदस्यों के साथ इस कांवड़ यात्रा को कर रहे हैं। इनका कहना है कि उन्हें 12 ज्योतिर्लिंगों की डाक कांवड़ यात्रा करनी है जो लगभग 12 वर्ष में पूर्ण होगी। प्रतिवर्ष इन लोगों का समूह 1 ज्योतिर्लिंग की यात्रा करता है और उत्तराखंड के गंगोत्री से गंगा जल लेकर डाक कांवड़ द्वारा यात्रा करते हैं। इनका कहना है कि उत्तराखंड सरकार और यूपी सरकार ने कांवड़ यात्रा के दौरान बहुत अच्छी व्यवस्था की हुई है। कहीं भी किसी प्रकार की कोई परेशानी या कठिनाई कावड़ यात्रियों को नहीं हो रही है। खासकर उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने कावड़ यात्रियों के लिए अच्छे प्रबंध किए हुए हैं।
बारी-बारी से गंगाजल लेकर पैदल भागते हैं 109 सदस्य
कांवड़ यात्रा कर रहे नितिन चौहान और राजेश गोयला ने जानकारी देते हुए बताया कि हम अपने वाहनों में खाने-पीने और बनाने की व्यवस्था साथ लेकर चलते हैं। ग्रुप का एक सदस्य भागकर डाक कांवड़ लेकर चलता है। 1 किलोमीटर की यात्रा भागकर पूरी करने वाला ग्रुप का सदस्य दूसरे साथी को 1 किलोमीटर बाद गंगाजल दे देता है। इसी प्रकार ग्रुप के सभी 109 सदस्य बारी-बारी से गंगाजल लेकर पैदल भागते हैं।
(रिपोर्ट- योगेश त्यागी)