जालौन: अतीक और अशरफ हत्याकांड के बाद उत्तर प्रदेश पुलिस फुल फॉर्म में है। पुलिस अब अपराधियों और बदमाशों को बिलकुल भी बख्सने के मूड में नहीं है। इसी क्रम में जालौन पुलिस को भी बड़ी सफलता मिली है। जालौन के उरई कोतवाली क्षेत्र के गोविंदम ढाबे के पास बीते दिन दो बदमाश ड्यूटी के दौरान सिपाही भेदजीत की हत्या कर फरार हो गए थे। इस कांड के बाद इलाके में हडकंप मच गया था। इन्हें पकड़ने के लिए पुलिस अधीक्षक ने चार टीमों का गठन किया था।
बदमाशों की तलाश में एसओजी ,सर्विलांस और कोतवाली पुलिस ने मुखबिर की सटीक सूचना पर फैक्ट्री एरिया के पास बदमाशों की घेराबंदी की जिस पर बदमाशों ने बचने के लिए पुलिस पर फायर कर झोंक दिया। जिसमे उरई कोतवाल के हाथ में गोली लगने से घायल हो गए। जालौन पुलिस ने जवाबी कार्रवाई करते हुए दोनो बदमाशों पर फायर किए, जिसमें दोनों को गोली लगी जिसमे वे गंभीर रूप से घायल हो गए। दोनो बदमाशों को राजकीय मेडिकल कॉलेज लाया गया लेकिन हालात गंभीर होने के कारण इलाज के दौरान मौत हो गई। पुलिस ने दोनों शवों को कब्जे में कर पंचनामा भर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
9 मई की रात को की थी सिपाही की हत्या
आपको बता दें कि 9 मई की रात को उरई नेशनल हाईवे की पुलिस चौकी से चंद कदम दूर ड्यूटी पर तैनात सिपाही भेदजीत सिंह की नुकीले हथियार से हत्या कर दी गई थी। हत्या बाइक सवार दो बदमाशों ने की थी जो मौके से भाग गए थे। इस घटना को लेकर एडीजी व आईजी सहित कई आला अफसर उरई में आ गए थे। जिसके बाद से ही कानपुर से एसपीएफ भी बदमाशों की धरपकड़ के लिए उरई आ गई थी। सिपाही की हत्या के 4 दिन बाद ही रविवार दोपहर को उरई की फैक्ट्री एरिया स्थित जंगल में सिपाही भेदजीत की हत्या करने वाले दोनों बदमाशों से एसओजी व पुलिस की चार टीमों से मुठभेड़ हो गई जिसमें पुलिस की टीमों ने घेराबंदी की तो बदमाशों ने पुलिस की टीमों पर फायरिंग कर दी।
शहर कोतवाल शिवकुमार सिंह राठौर भी हुए घायल
पुलिस ने जवाबी कार्रवाई करते हुए एसओजी व पुलिस की टीमों ने दी गोलियां चलाई और दोनों बदमाशों को मुठभेड़ में ढेर कर दिया। इस मुठभेड़ में शहर कोतवाल शिवकुमार सिंह राठौर भी घायल हुए। ढेर हुए बदमाशों में एक की पहचान कल्लू निवासी रहिया और दूसरे की पहचान रमेश निवासी सरसौखी के रूप में की गई। दोनों के शवों को पोस्टमार्टम के लिए पुलिस ने जिला अस्पताल भेज दिया जबकि मुठभेड़ में बदमाशों के ढेर होने की सूचना पर पुलिस अधीक्षक डॉ ईरज राजा व अपर पुलिस अधीक्षक असीम चौधरी भी मौके पर आ गए। फिलहाल बदमाशों का आपराधिक इतिहास खोजना शुरू कर दिया गया है।
(जालौन से वरुण द्विवेदी की रिपोर्ट)