अयोध्या गैंगरेप मामले पर समाजवादी पार्टी (सपा) प्रमुख अखिलेश यादव ने भाजपा पर चुनावी साजिश का आरोप लगाया है और उन्होंने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ पर भी तंज कसा है। अखिलेश का कहना है, 'भाजपा चुनाव से पहले साजिश शुरू करना चाहती है। इनका मकसद पहले दिन से ही समाजवादियों को बदनाम करना रहा है और खास तौर पर मुसलमानों को लेकर इनकी सोच अलोकतांत्रिक और असंवैधानिक है। अगर कोई 'योगी' लोकतंत्र, संविधान में विश्वास नहीं रखता तो वो 'योगी' नहीं हो सकता।
अखिलेश ने कहा कि मैं आपको 3 घटनाओं का उदाहरण देना चाहता हूं। पहली घटना हाथरस की है जिसमें भाजपा विधायकों और नेताओं ने एक साधु के कार्यक्रम की अनुमति के लिए लिखा था। लेकिन प्रशासन ने ठीक से इंतजाम नहीं किए और नतीजा ये हुआ कि बड़ी संख्या में लोगों की जान चली गई।
सपा प्रमुख ने आगे कहा और दूसरी बात, आपने गोमती नगर में देखा होगा, पुलिस ने पूरी लिस्ट दी थी लेकिन सीएम और भाजपा की सरकार चाहती है कि पुलिस भाजपा की कार्यकर्ता बन जाए। जब पुलिस ने सभी नामों की लिस्ट दी तो सीएम ने सिर्फ यादवों और मुसलमानों का नाम क्यों लिया? जिस यादव का नाम लिया गया, सुनने में आ रहा है कि वो कैमरे की फुटेज में नहीं था। उन्होंने कहा, "वो चाय पीने गए थे और पुलिस को एक यादव मिला, इसलिए उन्हें जेल भेज दिया गया। मैं आपको बताना चाहता हूं कि ऐसे लोग जो कानून का उल्लंघन कर रहे हैं और भाजपा के कार्यकर्ता के रूप में काम कर रहे हैं, जब भी (सपा) सरकार आएगी, ऐसे अधिकारियों पर भी कार्रवाई होगी।
और तीसरा उदाहरण अयोध्या का है...ये इनका (यूपी सरकार का) संशोधित कानून 2023 है जिसमें कहा गया है कि अगर किसी को 7 साल से ज्यादा की सजा का प्रावधान है तो डीएनए टेस्ट कराया जाना चाहिए, तो इस मांग में गलत क्या है और उनके परिवार वाले भी कह रहे हैं और पुलिस सच्चाई जानती है...चाहे वो कितना भी कुछ कर लें, जनता को उनसे कोई उम्मीद नहीं है..."